मुंबई: महाराष्ट्र में धूमधाम के साथ दशहरा उत्सव का जश्न मनाया गया. इस साल राज्य में विधानसभा चुनाव होने की वजह से राजनीतिक दलों ने बढ़-चढ़कर दशहरा रैलियों में भाग लिया. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले शिवसेना ने मुंबई के आजाद मैदान में दशहरा रैली का आयोजन किया. वहीं, उद्धव ठाकरे ने मूल स्थल शिवाजी पार्क में शिवसेना (यूबीटी) की रैली का नेतृत्व किया.
पिछले साल की तरह, इस बार भी दोनों गुटों में शिवसेना संस्थापक बालासाहेब ठाकरे की विरासत के असली संरक्षक के रूप में खुद को पेश करने की होड़ दिखी. दोनों गुटों ने इस संबंध में वीडियो भी जारी किए.
हमने शिवसेना को आजाद कर दिया...
आजाद मैदान में शिवसेना की दशहरा रैली में सीएम एकनाथ शिंदे ने कहा कि हमने शिवसेना को आजाद कर दिया है. सीएम एकनाथ शिंदे ने कहा, "पहले सभी को लगा कि शिंदे सरकार 2-3 महीने में गिर जाएगी, लेकिन सरकार ने दो साल पूरे कर लिए. अगर (महा विकास अघाड़ी) सरकार नहीं हटाई गई होती, तो महाराष्ट्र बहुत पीछे रह जाता."
#WATCH | Maharashtra CM Eknath Shinde addresses Shiv Sena's Dussehra rally at Azad Maidan in Mumbai. pic.twitter.com/5UkP8C7iYs
— ANI (@ANI) October 12, 2024
महाराष्ट्र में महायुति की सरकार बनने जा रही है...
सीएम शिंदे ने कहा, "हमारी सरकार ने धारावी परियोजना शुरू की और मैं धारावी के लोगों को बताना चाहता हूं कि विपक्ष चाहे कुछ भी कहे, हमारी सरकार आपको अच्छे घर देने जा रही है... पहले बाबू (उद्धव ठाकरे) उठते थे, नहाते थे और फेसबुक पर लाइव हो जाते थे. लोगों को बाबू का नेतृत्व कभी पसंद नहीं आया, इसीलिए लोगों ने उनकी सरकार गिरा दी. महाराष्ट्र में महायुति की सरकार बनने जा रही है. मैं मराठी को शास्त्रीय भाषा का दर्जा देने के लिए प्रधानमंत्री को धन्यवाद देता हूं."
हम असली शिवसेना हैं: उद्धव
शिवाजी पार्क में दशहरा रैली को संबोधित करते हुए शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने कहा, "...मैं इस दिल्ली शासन और भ्रष्ट सरकार के खिलाफ लड़ने के लिए तैयार हूं. स्वर्गीय रतन टाटा एक बार मेरे घर आए थे और 'मातोश्री' से लौटने के बाद उन्होंने मुझसे कहा था कि उद्धव तुम्हारे और मेरे पीछे एक विरासत और परम्परा है जिसे हमें आगे ले जाना है. रतन टाटा के पास उनके पिता की विरासत है और मेरे पास मेरे पिता बालासाहेब ठाकरे की विरासत है. हम असली शिवसेना हैं और बालासाहेब ठाकरे का नाम मेरे साथ है."
#WATCH | Maharashtra: Shiv Sena (Uddhav Balasaheb Thackeray) chief Uddhav Thackeray addresses party's Dussehra rally at Shivaji Park in Mumbai pic.twitter.com/2bFNkUGJ0s
— ANI (@ANI) October 12, 2024
उद्धव ने कहा कि महायुति सरकार ने सिर्फ वोट के लिए छत्रपति शिवाजी महाराज की मूर्ति बनवाई और वह मूर्ति गिर गई, लेकिन मैं आपको बताना चाहता हूं और आपसे वादा करता हूं कि जब हम सत्ता में आएंगे, तो महाराष्ट्र के हर जिले में छत्रपति शिवाजी महाराज का मंदिर बनवाएंगे. छत्रपति शिवाजी महाराज उनके लिए वोट बैंक हैं, लेकिन हमारे लिए वे भगवान हैं.
आरएसएस प्रमुख का सम्मान करता हूं...
उन्होंने आगे कहा, "मैं आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत का सम्मान करता हूं, लेकिन मुझे उनके विचार पसंद नहीं हैं. वह कह रहे हैं कि हिंदुत्व को बचाने के लिए एक साथ आओ, आपने या मोदी ने पिछले 10 सालों में हिंदुत्व को क्यों नहीं बचाया?"
असली शिवसेना यहां है: आदित्य ठाकरे
उधर, मुंबई के शिवाजी पार्क में पार्टी की दशहरा रैली को संबोधित करते हुए शिवसेना (यूबीटी) के नेता आदित्य ठाकरे ने कहा, "असली शिवसेना यहां है. मुझे गर्व है कि इस पार्टी का नाम मेरे पिता उद्धव और मेरे दादा बालासाहेब ठाकरे के नाम पर रखा गया है. वे (महायुति सरकार) सरकार में केवल भ्रष्टाचार करते हैं, आप सभी को इसे रोकना होगा और हमें वोट देना होगा और उन्हें महाराष्ट्र की ताकत दिखानी होगी."
आदित्य ठाकरे ने मौजूदा शिंदे सरकार की आलोचना की. उन्होंने दावा किया, "एक अधिकारी ने मुझे बताया कि जब तक अडाणी की सभी इच्छाएं पूरी नहीं हो जातीं, तब तक आचार संहिता लागू नहीं होगी." उन्होंने आगे कहा, "यह कोई व्यक्तिगत लड़ाई नहीं है. क्या हम मुंबई को अडाणी को दान में देने देंगे?"
आदित्य ने कहा, "अगर हम इसे रोकना चाहते हैं, तो हमें साथ रहना होगा. और कितना भ्रष्टाचार देखना चाहिए? भ्रष्टाचार का A से Z तक. इतनी सारी परियोजनाओं का भूमि पूजन किया जा रहा है. लेकिन मैं आपको बता दूं, इनमें से कोई भी परियोजना पूरी नहीं होगी. हम 5000 करोड़ रुपये का घोटाला देख सकते हैं."
आदित्य ठाकरे का पहला भाषण नए युग की शुरुआत...
वहीं, शिवसेना (यूबीटी) नेता संजय राउत ने शिवाजी पार्क में दशहरा रैली में बोलते हुए कहा कि शिवाजी पार्क में आदित्य ठाकरे का पहला भाषण एक नए युग की शुरुआत है. उन्होंने कहा, "आप राज्य के, देश के नेता बन गए हैं. महाराष्ट्र आपकी ओर बहुत उम्मीदों के साथ देख रहा है, आदित्य जी. आपने लोगों से पूछा कि क्या वे लड़ेंगे. जब भी ठाकरे की तीन पीढ़ियों ने लड़ाई का आह्वान किया है, महाराष्ट्र ने हमेशा उनका समर्थन किया है."
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