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केजरीवाल के खिलाफ मीडिया रिपोर्टिंग पर रोक लगाने की मांग खारिज, याचिकाकर्ता पर एक लाख का जुर्माना - High Court Reject Kejriwal PIL - HIGH COURT REJECT KEJRIWAL PIL

High Court Reject Kejriwal PIL: दिल्ली हाईकोर्ट ने उस जनहित याचिका को खारिज कर दिया, जिसमें मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने जेल से सरकार चलाने की अनुमति मांगी है.

हाईकोर्ट ने केजरीवाल को VC के जरिए शासन चलाने की जनहित याचिका की खारिज
हाईकोर्ट ने केजरीवाल को VC के जरिए शासन चलाने की जनहित याचिका की खारिज (ETV Bharat file photo)
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : May 8, 2024, 1:49 PM IST

Updated : May 8, 2024, 4:45 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने उस जनहित याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय को दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने से संबंधित कथित भ्रामक, सनसनीखेज शीर्षकों को प्रसारित करने से मीडिया को रोकने का निर्देश देने की मांग की गई थी. कार्यकारी चीफ जस्टिस मनमोहन की अध्यक्षता वाली बेंच ने याचिकाकर्ता श्रीकांत प्रसाद को फटकार लगाते हुए उन पर एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया.

कोर्ट में याचिकाकर्ता ने कहा था कि अरविंद केजरीवाल को जेल से सरकार चलाने के लिए उचित व्यवस्था की जाना चाहिए. इसके साथ ही कहा था कि अरविंद केजरीवाल से इस्तीफे की मांग वाली खबरों पर रोक लगे. याचिका में केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय को दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने से संबंधित कथित भ्रामक, सनसनीखेज शीर्षकों को प्रसारित करने से मीडिया को रोकने का निर्देश देने की भी मांग की गई थी.

पेशे से वकील श्रीकांत प्रसाद नामक व्यक्ति द्वारा दायर याचिका में कहा गया था कि ना तो भारत का संविधान और न ही कोई कानून मुख्यमंत्री/प्रधानमंत्री सहित किसी भी मंत्री को न्यायिक हिरासत में रहकर जेल परिसर से सरकार चलाने से रोकता है. इसलिए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जेल से सरकार चलाने के लिए कोर्ट को व्यवस्था बनाने की बात कही थी. अब हाईकोर्हाट ने इस जनहित याचिका पर नाराजगी जताते हुए याचिकाकर्ता को एक लाख रूपए जुर्माना भरने का आदेश दिया है.

ये भी पढ़ें : दिल्ली: बसपा ने AAP के पुराने नेताओं को टिकट देकर बढ़ाईं मुश्किलें, जानिए कैसे हो सकता है पार्टी को नुकसान

बता दें, केजरीवाल को 21 मार्च को प्रवर्तन निदेशालय ने उत्पाद नीति मामले को लेकर गिरफ्तार किया था. ईडी ने आरोप लगाया कि आम आदमी पार्टी (आप) कथित शराब घोटाले में उत्पन्न अपराध की आय का प्रमुख लाभार्थी है.

ये भी पढ़ें : मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका पर अब 13 मई को सुनवाई , हाईकोर्ट ने ED को दिया 4 दिन का समय -

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने उस जनहित याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय को दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने से संबंधित कथित भ्रामक, सनसनीखेज शीर्षकों को प्रसारित करने से मीडिया को रोकने का निर्देश देने की मांग की गई थी. कार्यकारी चीफ जस्टिस मनमोहन की अध्यक्षता वाली बेंच ने याचिकाकर्ता श्रीकांत प्रसाद को फटकार लगाते हुए उन पर एक लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया.

कोर्ट में याचिकाकर्ता ने कहा था कि अरविंद केजरीवाल को जेल से सरकार चलाने के लिए उचित व्यवस्था की जाना चाहिए. इसके साथ ही कहा था कि अरविंद केजरीवाल से इस्तीफे की मांग वाली खबरों पर रोक लगे. याचिका में केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय को दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने से संबंधित कथित भ्रामक, सनसनीखेज शीर्षकों को प्रसारित करने से मीडिया को रोकने का निर्देश देने की भी मांग की गई थी.

पेशे से वकील श्रीकांत प्रसाद नामक व्यक्ति द्वारा दायर याचिका में कहा गया था कि ना तो भारत का संविधान और न ही कोई कानून मुख्यमंत्री/प्रधानमंत्री सहित किसी भी मंत्री को न्यायिक हिरासत में रहकर जेल परिसर से सरकार चलाने से रोकता है. इसलिए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को जेल से सरकार चलाने के लिए कोर्ट को व्यवस्था बनाने की बात कही थी. अब हाईकोर्हाट ने इस जनहित याचिका पर नाराजगी जताते हुए याचिकाकर्ता को एक लाख रूपए जुर्माना भरने का आदेश दिया है.

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बता दें, केजरीवाल को 21 मार्च को प्रवर्तन निदेशालय ने उत्पाद नीति मामले को लेकर गिरफ्तार किया था. ईडी ने आरोप लगाया कि आम आदमी पार्टी (आप) कथित शराब घोटाले में उत्पन्न अपराध की आय का प्रमुख लाभार्थी है.

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Last Updated : May 8, 2024, 4:45 PM IST
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