चंपावत में दिखी कुमाउंनी होली के रंग, जश्न में डूबें लोग
कुमाऊं में शिवरात्रि के दिन से ही खड़ी होली का आयोजन शुरू हो जाता है. जो मंदिरों से शुरू होकर गांव-गांव तक पहुंच जाती है. आजकल हर गांव की अपनी एक होली कमेटी होती है, जो होली मैदान में होली गायन करते हैं. नगरीय क्षेत्रों में भी अब होली कमेटियों का गठन हो गया है. कुमाउंनी होली राग-फाग में गाई जाती है. खड़ी होली में वेद रामायण, महाभारत और प्रेमरस गाया जाता है