उत्तराखंड

uttarakhand

ETV Bharat / state

6 सालों से आशियाने के लिए भटक रहा राधे राम, DM के आश्वासन के बाद जगी उम्मीद

वैशाली गांव के 63 वर्षीय राधे राम का मकान साल 2014 की बरसात में आई आपदा की भेंट चढ़ गया था. जिसके बाद से ही बेघर है. जबकि, सदमें में पत्नी की मौत तो बेटे ने मानसिक संतुलन खो दिया है.

pithoragarh news
राधे राम

By

Published : Jun 19, 2020, 9:53 PM IST

पिथौरागढ़:गंगोलीहाट तहसील के वैशाली गांव निवासी राधे राम बीते 6 सालों से एक झोपड़ी में रहने को मजबूर हैं. एक वक्त था जब राधे राम अपने परिवार के साथ खेती और पशुपालन के जरिए खुशहाल जीवन व्यतीत कर रहे थे, लेकिन साल 2014 में आई आपदा ने राधे राम का सबकुछ छीन लिया. वहीं, सरकार ने भी राहत राशि मुहैया कराकर इतिश्री कर दी है.

दर-दर भतकता आपदा पीड़ित राधे राम.

दरअसल, 63 वर्षीय राधे राम का दोमंजिला मकान साल 2014 की बरसात में आई आपदा की भेंट चढ़ गया था. जिसके बाद सरकार की ओर से राहत के नाम पर राधे राम को मात्र 6300 की धनराशि मिली. हालांकि, उसे मकान देने का आश्वासन जरूर दिया गया, लेकिन यह महज आश्वासन ही साबित हुआ. इस सदमे से राधे राम की बीबी की मौत गई. जबकि, जवान बेटा मानसिक संतुलन खो बैठा. मजबूर राधे राम तब से लेकर अब तक मकान के लिए सरकारी दफ्तरों के चक्कर काट रहा है, लेकिन उसकी सुनने वाला कोई नहीं है.

ये भी पढ़ेंःकोटद्वारः चार दिन में चार लोगों ने की खुदकुशी, मचा हड़कंप

वहीं, ईटीवी भारत ने जब ये मामला डीएम दरबार में उठाया तब जिलाधिकारी ने उचित मदद देने का आश्वासन दिया है. ऐसे में देखना ये होगा कि बेबसी की झुर्रियां चेहरे पर लिए मजबूर राधे राम को सरकारी मदद मिलती है या अब भी उसे एक अदद मकान के लिए अपनी एड़ियां घिसनी होंगी.

ABOUT THE AUTHOR

...view details