हल्द्वानी:शहर में पिछले दो सालों से नगर निगम में अब तक 34 गांव जुड़ चुके हैं. लेकिन करीब डेढ़ लाख से अधिक की आबादी वाले इन 34 गांवों के लोग नगर निगम से अपने क्षेत्र में विकास की उम्मीद लगाए हुए हैं. उधर, कुछ लोगों का कहना है कि महज वोट बैंक को बढ़ाने के लिए इन गांवों को नगर निगम में शामिल किया गया है. वहीं, कुछ लोगों का कहना है कि न तो विकास के नाम पर कोई कार्य हो रहा है और न ही उन क्षेत्रों में सफाई कराई जा रही है.
पिछले दो सालों से विकास कार्यों से महरूम 34 गांव के लोग, विधायक से लगाई गुहार
हल्द्वानी नगर निगम में पिछले दो सालों में लगभग 34 गांवों को शामिल किया गया है. लेकिन इन गांवों में अब तक किसी भी तरह का विकास कार्य नहीं हो सका है. वहीं, लोगों ने स्थानीय विधायक से विकास कार्यों की गुहार लगाई है.
वहीं, हल्द्वानी नगर निगम के मेयर जोगिंदर पाल सिंह रौंतेला का कहना है कि उन्होंने पिछले एक साल में शहर के विकास के लिए काफी रुपए खर्च किए हैं. जिसकी जमीनीं हकीकत अब दिखाई देगी. वहीं, उन्होंने कहा कि जल्द ग्रामीण क्षेत्रों में स्ट्रीट लाइटें भी जलती दिखाई देंगी और साफ-सफाई की व्यवस्था भी कराई जाएगी. जिसके लिए टेंडर प्रक्रिया की जा चुकी है. रौंतेला ने कहा कि उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द अन्य गांवों में भी विकास कार्य शुरू किए जाएंगे. उधर, विकास कार्यों से वंचित स्थानीय लोगों ने विधायक से जल्द गांवों का विकास करने की गुहार लगाई है.
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दरअसल, भाजपा सरकार ने नगर निगम की सीमा विस्तार करते हुए 34 गांव को निगम में शामिल किया था. लेकिन नगर निगम में शामिल ये गांव पिछले दो सालों से विकास कार्यों से महरूम हैं. वहीं, इन गांवों के लोग विकास कार्यों के साथ ही अपने गांवों में स्ट्रीट लाइटें लगने की बाट जोह रहे हैं.