वाराणसीः मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा व डीजीपी देवेंद्र सिंह चौहान रविवार को निर्माणाधीन अमूल प्लांट, एलटी कॉलेज के अक्षय पात्र मेगा किचन और राजकीय कृषि एवं पशुधन प्रक्षेत्र का निरीक्षण किया. वहीं, विश्वनाथ धाम पहुंचकर पूजा अर्चना की. दोनों अधिकारी अर्दलीबाजार स्थित एलटी कॉलेज परिसर में 13.91 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित अक्षय पात्र मेगा किचन का जायजा लिया. इस किचन का पीएम मोदी अपने प्रस्तावित आगमन पर लोकार्पण करेंगे. इस दौरान पीएम पचास परिषदीय विद्यालय के बच्चों से संवाद भी करेंगे, जिनमें से कुछ बच्चों से आज मुख्य सचिव ने भी बात की. इस दौरान प्राइमरी स्कूल के बच्चों ने संस्कृत में श्लोक सुनाया, जिससे प्रभावित होकर मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्रा ने बच्चों का उत्साहवर्धन करते हुए 1100 रुपये का पुरस्कार दिया.
इसके अलावा मुख्य सचिव ने करिखायाव गांव में निर्माणाधीन अमूल प्लांट के निरीक्षण के दौरान अधिकारियों से कार्य प्रगति के बारे में जानकारी लेने के साथ समयबद्ध तरीके से कार्य करने का निर्देश दिया. पौधरोपण के बाद अमूल प्लांट के ठीक सामने स्थित एग्रो पार्क के बारे में जानकारी ली. गौरतलब है इस प्लांट से 50 किलोमीटर तक के गांव जुड़ेंगे. प्लांट के शुरू होने के बाद कंपनी की ओर से गांवों में दुग्ध कलेक्शन सेंटर भी खोले जाएंगे. हर गांव में दूध समिति बनाए जाने के साथ ही इस परियोजना में दूध के अलावा आइसक्रीम, पनीर, खोवा, मक्खन का भी उत्पादन होगा. निश्चित रूप से जब यह प्लांट जब तैयार हो जाएगा तो पूरे वाराणसी और आसपास के लाखों किसानों को फायदा होगा.
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मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्र अराजीलाइन विकासखंड के शाहंशाहपुर स्थित राजकीय कृषि एवं पशुधन प्रक्षेत्र तथा लगभग 23 करोड़ रुपये धनराशि से बने कंप्रेस्ड बायोगैस प्लांट का भी निरीक्षण किया. उन्होंने पूरी क्षमता से इसे संचालित किए जाने के लिए मौके पर उपस्थित प्लांट के अधिकारियों को निर्देशित किया. गौरतलब है कि इस कंप्रेस्ड बायो गैस प्लांट में प्रतिदिन लगभग 90 टन गोबर को प्रसंस्करण करने की क्षमता है. इससे प्रतिदिन ढाई टन कम्प्रेस्ड बायो गैस (सीबीजी) का उत्पादन होता है. इसके अलावा ठोस खाद के रूप में 30 टन और तरल खाद के रूप में 40 टन का उत्पादन किया जा रहा है. इससे जैविक खेती को जहां बढ़ावा मिल रहा है, तो वहीं पशुपालकों के पशुओं का गोबर बिक्री का अवसर भी मिल रहा है.