सीतापुर: सरकार नौनिहालों की शिक्षा दिलाने के लिए शिक्षा का अधिकार अधिनियम लागू कर चुकी है. बच्चों को स्कूल पहुंचाने के लिए स्कूल चलो अभियान चलाई जा रही है, लेकिन सीतापुर में शिक्षा व्यवस्था बदहाल देखने को मिल रही है. नगर में प्राथमिक और जूनियर हाईस्कूल में सिर्फ दस फीसदी शिक्षकों के सहारे ही विद्यालय संचालित किए जा रहे हैं.
सीतापुर: प्राथमिक विद्यालयों में शिक्षकों की कमी, बच्चों की पढ़ाई हो रही प्रभावित - सीतापुर खबर
उत्तर प्रदेश के सीतापुर में प्राथमिक और जूनियर हाईस्कूल विद्यालयों की स्थिति बदहाल बनी हुई है, जिससे शिक्षकों के अभाव में बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है.
प्राथमिक विद्यालय.
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शिक्षक एक स्कूल अनेक-
- सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की भारी कमी के चलते शिक्षण व्यवस्था पर इसका विपरीत प्रभाव पड़ रहा है.
- स्कूलों में करीब 500 शिक्षक के पद सृजित हैं, लेकिन सिर्फ 50 शिक्षक ही स्कूलों में तैनात रहते हैं.
- एक शिक्षक के पास कई स्कूलों का चार्ज है, जिसके चलते स्कूलों में शिक्षण कार्य सुचारू रूप से संचालित नहीं हो पाता है.
- शहर में 32 प्राथमिक और दस जूनियर हाईस्कूल विद्यालय संचालित हैं, जिसमें शिक्षकों के करीब कुल 200 पद सृजित है.
- सबसे बुरा हाल खैराबाद नगर क्षेत्र का है. यहां 12 से अधिक प्राथमिक विद्यालय चलते हैं, जिसमें मात्र तीन कार्यरत शिक्षक हैं.
- प्राथमिक शिक्षा के संघ ने शिक्षकों के समायोजन की मांग की है, जिससे सुचारू रूप से विद्यालय संचालित किया जा सके.