मुजफ्फरनगर: जिले के जीआईसी मैदान में चल रहे किसान आंदोलन को शनिवार को सपा ने समर्थन दिया. इसी कड़ी में सपा के राष्ट्रीय महासचिव हरेंद्र मलिक, सपा विधायक पंकज मलिक और आरएलडी विधायक प्रसन्न चौधरी किसान नेता राकेश टिकैत से मिले. उन्होंने आंदोलन को सपा की ओर से समर्थन दिया. उन्होंने कहा कि किसानों के आंदोलन में जिस तरह से वे चाहेंगे हम उन्हें सहयोग करेंगे. इस दौरान प्रसन्न चौधरी ने आंदोलन कर रहे किसानों को अपने हाथों से भोजन भी परोसा.
विधायक पंकज मलिक ने सरकार पर किसान विरोधी होने का आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार पूर्ण रूप से किसान विरोधी और जन विरोधी है. यह सरकार अपने अहंकार में चूर है. बीजेपी सांप्रदायिकता फैलाकर सत्ता में आई है. उन्होंने कहा कि बीजेपी ने सांप्रदायिकता का जहर घोला है. पहले किसानों को परेशान किया और आज किसानों को इग्नोर किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि किसानों का अपमान ठीक नहीं है. किसानों की समस्याओं को दूर किया जाना चाहिए.
पंकज मलिक ने कहा कि आज हम लोग अराजनीतिक रूप से इस आंदोलन को समर्थन देने हैं. हम लोग भी किसान हैं. किसान, मजदूर व नौजवान का वोट पाकर हम लोग सदन पहुंचे हैं. उन्होंने कहा कि आज जो लोग भारतीय जनता पार्टी में हैं या उसके समर्थन में है उन्हें आज इंसानियत की खातिर किसानों का समर्थन करना चाहिए.
उन्होंने कहा कि जो जनप्रतिनिधि हैं, उन्हें शर्म आनी चाहिए कि जनता का वोट लेकर सदन में पहुंचे और आज उन्हें धोखा देने का काम कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि किसानों के हित की लड़ाई वह जारी रखेंगे. सभी तरह की राजनीतिक बाधाओं से पार जाकर किसानों के बीच जाऊंगा. किसान आंदोलन समर्थन दिया गया है. आंदोलन कर रहे किसानों की हरसंभव मदद की जाएगी.
राकेश टिकैत बोले, विपक्ष के समर्थन से धरने को मजबूती मिलती
पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी राकेश टिकैत से विभिन्न मुद्दों पर घंटों बातचीत करते रहे लेकिन वार्ता विफल रही. राकेश टिकैत ने कहा कि जब यहां सपा की सरकार रहती है तो किसानों के समर्थन में दूसरे पार्टी के लोग आते हैं. आज भाजपा की सरकार है तो सपाई और अन्य लोग आ रहे हैं. हमारा और सपा का कार्यालय भी एक ही स्थान पर है. यह तालमेल का चक्र है जो घूमता रहता है. धरने को मजबूती तब मिलती है जब विपक्ष के लोग आकर समर्थन देते हैं. उन्होंने कहा बिहार में भाजपा किसानों को समर्थन दे रही है, लेकिन हम क्या करें जिसको आना है तो आ जाओ. उन्होंने कहा कि 10 फरवरी को पंचायत होगी. उन्होंने कहा कि 10 साल पुराने ट्रैक्टर तोड़ने का प्लान सरकार का है. इससे मुक्ति का केवल एक ही रास्ता है वह है आंदोलन. उन्होंने कहा कि जो अधिकारी हैं जिनकी गाड़ियां पुरानी हैं, जज है उनकी गाड़ियां पुरानी हैं उनकी भी गाड़ी टूटेगी. यह 10 साल वाला जो डिसीजन है सरकार का बहुत खतरनाक है. उन्होंने कहा कि पूरी भारत सरकार लगकर भी अडानी को नहीं बचा पाई तो सरकार ने ऐसी बीमारी में पांव क्यों दिया था. सरकार ने पूरे देश को लूट कर अडानी को दे दिया और वह फिर भी हार गया तो ऐसा पहलवान क्यों पाल क्यों रहे हैं जो अखाड़े में जाते ही हार जाएं. उन्होंने कहा कि किसानों की सारी प्रॉपर्टी छीनकर अडानी को दे दी और वह फिर भी हार गया.
ये भी पढ़ेंः death in Kasturba school: मिर्जापुर के कस्तूरबा विद्यालय की छात्रा की मौत