लखनऊ :यूपी में कोरोना वैक्सीनेशन के अफसर लगातार नए रिकॉर्ड का दावा कर रहे हैं. वहीं, इसी बीच बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़ा की आशंका गहरा रही है. बिना टीका लगे लोगों के मोबाइल पर टीकाकरण का मैसेज आ रहा है. साथ ही कोविन पोर्टल से प्रमाण-पत्र भी अपलोड हो रहे हैं.
वैक्सीनेशन का सर्टिफिकेट-3 यूपी में 50 लाख के करीब लोगों को वैक्सीन लगाई जा चुकी है. वहीं लखनऊ में ढाई लाख लोगों को डोज दी जा चुकी है. राज्य में तीन बार एक दिन में तीन से चार लाख वैक्सीन लगाकर देश भर में टॉप रिकॉर्ड बनाने का दावा किया गया. वहीं एक शिकायतकर्ता ने सीएम-पीएम से शिकायत कर फर्जीवाड़ा का खुलासा किया. अलीगंज में एक परिवार ने 23 मार्च को मामले की शिकायत प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री से की है.
वैक्सीनेशन का सर्टिफिकेट-2 इन्होंने की शिकायत
15 मार्च को अलीगंज सेक्टर-के निवासी जगदीश केसरवानी (70), मां पुष्पा केसरवानी (90) और विनीता केसरवानी (65) ने आरोग्य सेतु ऐप पर टीकाकरण के लिए पंजीकरण कराया था. जगदीश केसरवानी के मुताबिक 22 मार्च को टीका लगवाने के लिए तीनों बुजुर्ग अलीगंज सेक्टर-सी स्थित शहरी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे, लेकिन यहां टीका नहीं लगा. इसके बावजूद सफलतापूर्वक टीकाकरण होने का मैसेज आ गया.
वैक्सीनेशन का सर्टिफिकेट-1 बिना टीका लगवाए आया SMS
जगदीश के मुताबिक काउंटर पर मौजूद कर्मचारियों ने आरोग्य सेतु ऐप के बजाए मौके पर पंजीकरण कराने को कहा. लंबी जद्दोजहद के बाद दोबारा ऑफलाइन पंजीकरण कराया. सभी अपनी बारी का इंतजार करते रहे. 90 वर्षीय माता पुष्पा केसरवानी का स्वास्थ्य खराब होने लगा, जिसकी वजह से बिना टीका लगवाए घर लौटना पड़ा. शाम साढ़े पांच बजे मोबाइल पर एसएमएस आया, जिसमें तीनों सदस्यों का सफलतापूर्वक टीकाकरण होने की बात कही गई. साथ ही वेबसाइट से प्रमाणपत्र डाउनलोड करने का भी जिक्र किया गया.
जगदीश ने वेबसाइट पर प्रमाण पत्र खोला तो उसमें टीकाकरण होने की बात लिखी गई थी, जबकि तीनों सदस्य बिना टीका लगवाए वापस आ गए थे. ऐसे में जगदीश ने मुख्यमंत्री और पीएम से शिकायत की है. टीकाकरण अधिकारी डॉ. एमके सिंह ने बताया कि मामले की जानकारी शासन को भेज दी गई है. पोर्टल में सुधार कराया जाएगा।. टीकाकरण में फर्जीवाड़ा की आशंका गलत है.