लखनऊ : लखनऊ विश्वविद्यालय में शिक्षकों के एक बड़े धड़े ने विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ हल्ला बोल दिया है. लखनऊ विश्वविद्यालय शिक्षक संगठन ( लूटा) के बैनर तले चल रहे आंदोलन के तहत बुधवार को विश्वविद्यालय अधिनियम रक्षा दिवस मनाया जाएगा. लूटा के अध्यक्ष डॉ. विनीत वर्मा ने बताया कि काला फीता बांधकर विश्वविद्यालय बचाओ दिवस मनाएंगे. शिक्षकों का आरोप है कि विश्वविद्यालय प्रशासन एक्ट और स्टेट्यूट का लगातार उल्लंघन कर रहा है.
लखनऊ विश्वविद्यालय : शिक्षक आज मनाएंगे विश्वविद्यालय बचाओ दिवस, अगले सप्ताह से कर सकते हैं कार्य बहिष्कार
लखनऊ विश्वविद्यालय में शिक्षकों के एक बड़े धड़े ने विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ हल्ला बोल दिया है. लखनऊ विश्वविद्यालय शिक्षक संगठन ( लूटा) के बैनर तले चल रहे आंदोलन के तहत बुधवार को विश्वविद्यालय अधिनियम रक्षा दिवस मनाया जाएगा.
बता दें, बीते दिनों पदोन्नति के प्रकरण में कला संकाय की डीन प्रोफेसर शशि शुक्ला के द्वारा कमेटी में शामिल न होने और उसके बाद विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा उनको नोटिस दिए जाने के बाद शिक्षक भड़क उठे. लखनऊ विश्वविद्यालय शिक्षक संघ के अध्यक्ष डॉक्टर विनीत वर्मा और महामंत्री डॉ. राजेंद्र वर्मा कहना है कि जब तक डीन आर्ट्स को दिया गया नोटिस वापस नहीं होता है. यह आंदोलन ऐसे ही चलता रहेगा. इस बीच संगठन की तरफ से कुछ ऐसे भी मुद्दे उठाए गए हैं, जिनको बार-बार प्रशासन के सामने रखा जाता रहा है, लेकिन प्रशासन ने अनदेखी की.
यह मुद्दा उठा रहे हैं शिक्षक
- सरकार के स्तर पर होने वाले उत्पीड़न में विश्वविद्यालय तथा महाविद्यालय के शिक्षकों को सेवानिवृत्ति की आयु पर ग्रेच्युटी की सुविधा प्रदान न करना, यूजीसी रेगुलेशन में व्यवस्था होने पर भी पीएचडी एवं अन्य उच्च उपाधि के इंक्रीमेंट प्रदान न करना, विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालय के शिक्षकों को राज्य कर्मचारियों की भांति कैशलैस मेडिकल सुविधा प्रदान न किया जाना प्रमुख हैं.
विश्वविद्यालय से इन मुद्दों पर नाराज है शिक्षक
- अधिष्ठाता कला संकाय तथा कुछ अन्य शिक्षकों को अकारण ही नोटिस दे देना.
- शिक्षकों के साथ गरिमा के अनुकूल व्यवहार न करना, शिक्षकों को उनके देय समय से प्रदान न करना.
- राजभवन के निर्देश के बाद भी एसोसिएट प्रोफेसर पद पर स्वतः प्रोन्नति प्रदान न करना.
- विश्वविद्यालय द्वारा अपनी घोषित वरिष्ठता सूची का उल्लंघन कर विज्ञान, कला तथा ललित कला संकाय के वरिष्ठ शिक्षकों को डीन का पद प्रदान न करना.
- बार-बार आग्रह करने पर भी लंबे समय से अद्यतन वरिष्ठता सूची जारी न करना.
- एसोसिएट प्रोफेसर और प्रोफेसर दोनों पदों पर प्रोन्नति देय होने पर भी केवल एसोसिएट प्रोफेसर पद पर ही प्रोन्नति प्रदान करने, सीनियर प्रोफेसर के पद पर प्रोन्नति प्रदान न करना.