लखनऊ:उत्तर प्रदेश के 25 कस्तूरबा गांधी विद्यालयों में फर्जी तरीके से नौकरी कर रही शिक्षिकाओं के मामले की जांच एसटीएफ कर रही है. एसटीएफ ने एक ओर जहां फर्जी शिक्षकों से पूछताछ की है तो वहीं दूसरी ओर बेसिक शिक्षा विभाग के कई अधिकारी एसटीएफ की रडार पर हैं. एसटीएफ ने कई अधिकारियों को चिन्हित किया है, जिनसे फर्जी शिक्षिका भर्ती मामले को लेकर जल्द पूछताछ की जाएगी. एसटीएफ की अब तक की जांच में अधिकारियों की लापरवाही निकलकर सामने आई है. जिन अधिकारियों की लापरवाही उजागर हुई है उन अधिकारियों की लिस्ट एसटीएफ ने तैयार कर ली है.
एसटीएफ ने की पूछताछ
शुक्रवार को एसटीएफ की एक टीम ने अनामिका शुक्ला बन अंबेडकरनगर में नौकरी कर रही अनीता से भी पूछताछ की है. अनीता से पूछताछ में भी एसटीएफ को अहम सुराग हाथ लगे हैं. अनीता ने भी नौकरी दिलाने में पुष्पेंद्र का हाथ बताया है. एसटीएफ की पूछताछ में यह बात निकलकर सामने आई है कि कस्तूरबा गांधी विद्यालय में फर्जी तरीके से नौकरी दिलाने का यह काम कोई नया मामला नहीं है. पिछले कई सालों से इस तरह से विद्यालय में फर्जी शिक्षकों की तैनाती की जा रही है. इसकी जांच में इस बात का भी खुलासा हुआ है कि एक ही पैन कार्ड के नंबर पर कई शिक्षकों के वेतन का भुगतान किया जा रहा है.
एसटीएफ के अधिकारी ने दी जानकारी
एसटीएफ में तैनात एक अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि पूछताछ में इस बात का खुलासा हुआ है कि दस्तावेजों की डुप्लीकेट कॉपी बनाई जाती थी. फोटो को धुंधला कर शिक्षक पद पर नियुक्ति कराई जाती थी. तमाम बार तो सिर्फ दस्तावेजों की फोटोकॉपी दिखाकर नियुक्ति करा दी जाती थी.
लखनऊ: शिक्षक भर्ती फर्जीवाड़े में विभाग के कई अधिकारी एसटीएफ के रडार पर - stf investigation on teacher recruitment
कस्तूरबा गांधी विद्यालय में फर्जी शिक्षिकाओं के मामले की जांच कर रही एसटीएफ के रडार पर बेसिक शिक्षा विभाग के कई अधिकारी भी हैं. वहीं एसटीएफ ने इस मामले में पूछताछ जारी कर दी है. इस दौरान टीम को कई सुराग भी हाथ लगे हैं.
अनामिका शुक्ला के दस्तावेजों का प्रयोग कर कस्तूरबा गांधी विद्यालय में नौकरी दिलाने वाले मास्टरमाइंड पुष्पेंद्र उर्फ राज के भाई जसवंत को एसटीएफ की टीम ने गिरफ्तार किया था. जसवंत उसी पुष्पेंद्र का भाई है, जिसका नाम अनीता ने एसटीएफ की पूछताछ में लिया है.
पुष्पेंद्र नौकरी दिलाने का रैकेट चलाता है
जानकारी के अनुसार कस्तूरबा गांधी विद्यालय में अनामिका शुक्ला के दस्तावेजों के आधार पर फर्जी तौर पर शिक्षकों की नियुक्ति कराने का मास्टरमाइंड पुष्पेंद्र है, जो अपने आप को राज बताता है. पुष्पेंद्र फर्जी डिग्री की मदद से नौकरी दिलाने का रैकेट चलाता है. अब तक की जांच में इस बात का खुलासा हुआ है कि पुष्पेंद्र ने ही राज बनकर सुप्रिया को अनामिका के डॉक्यूमेंट की मदद से नौकरी दिलाई थी.