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मंत्री आशुतोष टंडन के खिलाफ बीजेपी पार्षदों ने खोला मोर्चा, फेसबुक पर की टिप्पणी

सरकार के मंत्री गोपाल टंडन की मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं. पार्षद अधिवक्ता दिलीप श्रीवास्तव और भृगुनाथ शुक्ला ने योगी सरकार के मंत्री गोपाल टंडन पर हमला बोला है. इन्होंने फेसबुक पर गोपाल टंडन पर एक भ्रष्ट व्यक्ति को जनसंपर्क अधिकारी बनाने का आरोप लगाया है.

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Published : Mar 5, 2019, 8:23 PM IST

बीजेपी पार्षदों ने की टिप्पणी

लखनऊ: योगी सरकार के मंत्री आशुतोष उर्फ गोपाल टंडन की मुश्किलें बढ़ती दिख रही हैं. बीजेपी कार्यकर्ताओं ने उनके खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. गोपाल टंडन पर उनके क्षेत्र के ही लोगों ने सवाल खड़े किए हैं. टंडन जिस क्षेत्र से विधायक हैं, उसी क्षेत्र के बीजेपी पार्षदों ने उन पर हमला बोला है.

मंत्री आशुतोष टंडन के खिलाफ बीजेपी का मोर्चा.

पूर्वी विधानसभा क्षेत्र लखनऊ के इंदिरा नगर क्षेत्र के पार्षद अधिवक्ता दिलीप श्रीवास्तव और भृगुनाथ शुक्ला ने विधायक और योगी सरकार के मंत्री गोपाल टंडन पर हमला बोला है. इन्होंने फेसबुक पर गोपाल टंडन पर एक भ्रष्ट व्यक्ति को जनसंपर्क अधिकारी बनाने का आरोप लगाया है. सोशल मीडिया साइट पर बीजेपी पार्षदों ने लिखा है कि मंत्रीजी ने एक ऐसे व्यक्ति को अपना जनसंपर्क अधिकारी बनाया है, जिस पर पहले से भ्रष्टाचार के आरोप लगे हैं.

दिलीप श्रीवास्तव भारतीय जनता पार्टी उत्तर प्रदेश के प्रवक्ता (पैनलिस्ट) टीम में भी हैं. हालांकि वे लोग इस पर बोलने से बचते नजर आ रहे हैं. भाजपा के पार्षदों ने सोशल नेटवर्किंग साइट फेसबुक पर जिस प्रकार से कार्यकर्ताओं का दर्द बयां किया है, उससे लगता है कि विधायक की आने वाले दिनों में मुश्किलें बढ़ सकती हैं. इसके पीछे की खबर है कि मंत्री गोपाल टंडन द्वारा विधायक निधि से कराए जा रहे उनके क्षेत्र में विकास कार्यों के शिलापटों पर पार्षदों के नाम नहीं लिखे गए हैं.

पार्षदों की नाराजगी की एक यह भी वजह बताई जा रही है. आमतौर पर विधायक अपने क्षेत्र में विकास कार्य कराते हैं, तो उसके शिलान्यास के वक्त लगाए जाने वाले पत्थर में विधायक के अलावा स्थानीय पार्षदों का भी नाम लिखे जाने की परंपरा रही है. यह परंपरा तब और जरूरी हो जाती है, जब पार्षद और विधायक एक ही पार्टी के हों. इस संबंध में जब मंत्री को फोन किया गया तो उनका फोन नहीं उठा. आरोप लगाने वाले पार्षदों से संपर्क किया गया तो उन्होंने कैमरे पर बोलने से मना कर दिया, लेकिन कहा कि फेसबुक पर जो लिखा गया है. उसे ही उनका आधिकारिक बयान माना जाए.

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