श्रीगंगानगर.प्रदेश में गर्मी का सितम लगातार जारी है. वहीं पश्चिमी राजस्थान के कुछ जिलों में गर्मी और लू के थपेड़ों ने आमजन का जीना मुहाल कर दिया है. ऐसे में अगर बीते तीन-चार दिनों की बात की जाए तो गर्मी कम होने के बजाए लगातार बढ़ती जा रही है.
तपिश और लू के थपेड़ों ने आमजन का जीना किया मुहाल तेज गर्मी, लू और धूप के कारण आमजन को कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. वहीं जिले में तापमान 45 डिग्री से ऊपर पहुंचने के कारण कूलर और पंखे भी जवाब देने लगे हैं. बीते दिनों की तुलना में बुधवार को सबसे गर्म दिन रहा. सूर्य निकलने से लेकर सुबह आठ बजे तक तापमान जहां 29.8 डिग्री दर्ज हुआ. वहीं सुबह 11 बजे तक गर्मी ने अपने तेवर दिखाते हुए तापमान को 40.6 डिग्री पर पहुंचा दिया था.
दोपहर के बाद तेज धूप और लू के थपेड़ों ने मानों आग के अंगारे बरसाने शुरू कर दिए हों. दोपहर तीन बजे तक तापमान 45.2 डिग्री पर जा पहुंचा. पिछले तीन दिनों से दिन में 10 से 15 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चल रही गर्म हवाओं ने आमजन की परेशानियों को और बढ़ा दिया.
मौसम वैज्ञानिकों ने 8 और 9 मई को श्रीगंगानगर जिले को लू से प्रभावित रहने की आशंका जताई है. वहीं पश्चिमी राजस्थान में 10 और 11 मई को 40 से 50 किलोमीटर की रफ्तार से गर्म हवाओं के साथ आंधी चलने की चेतावनी भी जारी की है. मंगलवार की तरह बुधवार को भी क्षेत्र में दिनभर तेज धूप और गर्मी का प्रभाव रहा. सुबह सूर्योदय के साथ ही तपिश का प्रभाव बढ़ना शुरू हो गया था. साथ ही गर्म हवाएं भी चलनी शुरू हो गईं थीं.
दोपहर में तपिश का प्रभाव बढ़ने के साथ ही गर्म हवाओं ने लू का रूप धारण कर लिया. लू और गर्मी से बचने के लिए लोग घरो में ही दुबके रहे तथा राहत पाने के लिए पंखे व कूलरों का सहारा लिए. दोपहर में तपिश और गर्मी अधिक होने के कारण बाजारों में भी सन्नाटा पसरा रहा.
मौसम विभाग की मानें तो बुधवार को अधिकतम तापमान दोपहर तीन बजे तक 45.6 और न्यूनतम तापमान 23.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. बीते दस साल में 17 मई तक 45.6 डिग्री या इससे अधिक तापमान नहीं रहा. इससे पहले साल 2009 में 18 मई को 47.7 डिग्री और 2015 में 22 मई को 46.2 डिग्री तापमान रह चुका है. साल 2018 में 29 मई को अधिकतम तापमान 48.7 डिग्री दर्ज किया गया था.