अलवर.आतंकियों से निपटने के लिए राजस्थान में अमेरिकी- भारतीय सैनिकों को संयुक्त रूप से युद्धाभ्यास कराया जा रहा है. इसपर बोलते हुए दक्षिण पश्चिमी कमान के लेफ्टिनेंट जनरल आलोक क्लेर ने कहा कि इस तरह के युद्धाभ्यास से पूरी दुनिया को संदेश देने का काम करते हैं. इन युद्ध अभ्यास में आधुनिक तकनीक में समय के साथ हो रहे बदलाव के अनुसार सेना अभ्यास करती है.
राजस्भाथान में भारत-अमेरिका सैनिक युद्ध अभ्यास बता दें कि दक्षिण पश्चिमी कमान के अलंकरण समारोह में शामिल होने के लिए अलवर पहुंचे. जहां दक्षिण पश्चिमी कमान के लेफ्टिनेंट जनरल आलोक क्लेर ने बोलते हुए कहा कि राजस्थान में चल रहा अमेरिकी और भारतीय सेना के बीच युद्धाभ्यास पहला नहीं है. इससे पहले 15 युद्धाभ्यास हो चुके हैं. साथ ही उन्होंने कहा कि यह 16 वां युद्धाभ्यास है. इस बार अमेरिकी सेना की बटालियन इस अभ्यास में शामिल होने के लिए आई है.
समय के साथ इसके साइज में तरीकों में बदलाव हुआ है. आतंकी घटनाओं का मुकाबला करने और उनको जवाब देने के लिए विशेष युद्ध अभ्यास किया जा रहा है. इस तरह के अभ्यास में दोनों देशों की सेनाएं अपनी तकनीक साझा करेंगी. साथ ही सैनिक किसी भी परिस्थिति से मुकाबला करने के लिए तैयार रहेंगे. उन्होंने कहा दो बड़े देशों की महान सेनाएं आपस में अभ्यास कर रही हैं.
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भारत की तरफ से 11 जम्मू-कश्मीर राइफल इसमें हिस्सा ले रही है. दोनों देशों की सेनाएं आपस में तकनीक साझा करने के साथ युद्ध तकनीक पर भी चर्चाएं करेंगे. साथ ही समय-समय पर अलग-अलग देश की सेनाओं के साथ भारतीय सेना इस तरह के अभ्यास करती रही है और आगे भी यह जारी रहेगा. कार्यक्रम में दक्षिण पश्चिमी कमान के सभी मेजर जनरल लेफ्टिनेंट जनरल सहित सभी अलग-अलग यूनिटों के प्रभारी मौजूद रहे.