सांगोद (कोटा).गुरुवार को सांगोद के दीगोद गांव में 7 बच्चों ने एक साथ अज्ञात रूप से रतनजोत के बीज खा लिए. जिससे बच्चों की हालत खराब हो गई. परिजन सभी बच्चों को मूर्छित अवस्था में सांगोद अस्पताल लेकर आए. जहां चिकित्सकों ने मूर्छित बच्चों का उपचार किया.
बादाम समझकर खा लिए रतनजोत के जहरीले बीज जानकारी के अनुसार खेत पर रतनजोत के बीजों को बादाम समझकर बच्चो ने खा लिया था. जिसके बाद बच्चों की हालत धीरे-धीरे खराब होने लगी. जब परिजनों को इसकी जानकारी हुई तो वह सभी बच्चों को तुरंत सांगोद हॉस्पिटल लेकर पहुंचे. जहां चिकित्सकों ने बच्चों का उपचार किया.
पढ़ेंः कॉमर्स कॉलेज में छात्रसंघ चुनाव के बाद अब शपथ ग्रहण समारोह को लेकर सियासत तेज
बच्चों के परिजन राधेश्याम ने बताया कि हम डाबरी गांव गए हुए थे. एक लड़की को हम घर पर छोड़ कर गए थे. वहीं दूसरी खेत पर निराई करने गई थी. साथ ही दो बच्चे बकरी चराने गए थे. इसी दौरान सरपंच के खेत में रतनजोत के पेड़ लगे हुए थे. जिन पर अंकुरित बीजो को बच्चों ने बादाम समझकर खा लिया. जिससे बच्चों को उल्टियां होने लगी. जिसके बाद बच्चों को फौरन सांगोद अस्पताल लेकर आए जहां उनका उपचार चल रहा है
वही दूसरी ओर संतरा बाई ने बताया कि बच्चे खेलते खेलते गांव में पास बने तालाब पर पहुंचे और तालाब की पाल पर लगे रतनजोत के नीचे गिरे हुए बीजो को बादाम समझकर खा लिया. उसके बाद बच्चे घर पहुंचे और उल्टियां करने लगे. मेरे पूछने पर बच्चों ने बताया कि हमने बादाम खाए थे. बच्चों ने जब रतनजोत के बीज दिखाएं तो मैं समझ गई की बच्चों ने जहरीले रतनजोत के बीजों को बादाम समझकर खा लिया है. इसके बाद हम तुरंत बच्चों को अस्पताल लेकर आए.
पढ़ेंः जयपुरः प्रशासन ने हटाया अस्थाई अतिक्रमण, हल्के-फुल्के हुए विरोध
वहीं डॉक्टर उमाशंकर ने बताया कि लगभग 7 बच्चों ने अज्ञात बीज खाया है, जो रतनजोत के बीज है. ऐसे में बच्चों का प्राथमिक उपचार कर उनको अस्पताल में भर्ती कर लिया है. वहीं बच्चों की स्थिति को देखते हुए कोटा रेफर या डिस्चार्ज किया जाएगा. वहीं बच्चों के नाम जीतू, हरीश, सपना, रोहित, सुनील, चांदनी, चेतना है. सभी बच्चे 14 साल से कम उम्र के थे.