जयपुर. गृह विभाग ने कोरोना महामारी के संक्रमण से बचाव के लिए राज्य में होने वाले धार्मिक मेलों, उत्सवों और कार्यक्रमों के लिए मानक संचालन प्रक्रिया जारी की है. इसके तहत हरिद्वार में 27 फरवरी से 30 अप्रैल तक होने वाले कुंभ मेले में शामिल होने वाले श्रद्धालुओं को भी करनी होगी. केंद्र सरकार व उत्तराखंड सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन की पालना की जाए, हाई रिस्क व्यक्ति धार्मिक मेलों, उत्सवों और कार्यक्रमों में न आएं, धार्मिक मेलों, उत्सवों और कार्यक्रमों में शामिल होने वाले सभी श्रद्धालुओं को संबंधित जिला प्रशासन से रजिस्ट्रेशन कराना होगा.
प्रमुख शासन सचिव, गृह अभय कुमार ने कहा कि एसओपी में बताया गया है कि हाई रिस्क व्यक्तियों जैसे 65 वर्ष से ज्यादा उम्र के व्यक्तियों, 10 साल के कम उम्र के बच्चों, गर्भवती महिलाओं, कम रोग प्रतिरोधक क्षमता वाले व्यक्तियों और को-मोर्बिड व्यक्तियों (डायबिटीज, हाइपर टेंशन, हृदय, श्वसन, किडनी रोग, कैंसर से ग्रसित) को धार्मिक मेलों, उत्सवों और कार्यक्रमों में नहीं जाना चाहिए.
उन्होंने बताया कि एसओपी के अनुसार धार्मिक मेलों, उत्सवों और कार्यक्रमों में भाग लेने वाले स्वस्थ तीर्थयात्रियों को अपने राज्य में मौजूद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र/जिला अस्पताल/मेडिकल कॉलेज से निर्धारित प्रारूप में स्वास्थ्य प्रमाण पत्र और नेगेटिवआरटी-पीसीआर टेस्ट रिपोर्ट (जो 72 घंटे से पुरानी न हो) अपने साथ रखनी होगी. इन दस्तावेजों के बिना मेले, उत्सवों और कार्यक्रमों में प्रवेश नहीं दिया जाएगा. परेशानी से बचने के लिए इन दस्तावेजों के बिना घर से रवाना न हों. राजस्थान में किसी मेले के लिए प्रस्थान करने से पूर्व श्रद्धालुओं को संबंधित जिला प्रशासन से रजिस्ट्रेशन करवाना होगा.