जयपुर. विद्युत विभाग ने 4 हजार सेवानिवृत और सेवारत कर्मचारियों की पेंशन को अब तक लंबित रखा है. बता दें तत्कालीन RSEB के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर द्वारा जारी की गई पेंशन स्कीम 1988 के तहत लाभान्वित होने वाले कर्मचारियों का पेंशन अब तक रोक कर रखा गया है. जहां विभाग ने पेंशन को सरकार पर पांच हजार करोड़ का वित्तीय भार बताया है, वहीं इन कर्मचारियों ने विभाग के इन दावों पर सवालिया निशान खड़े किए हैं.
कर्मचारियों का आरोप है कि विभाग की ओर से पेंशन की वित्तीय भार की रिपोर्ट तैयार करने में गड़बड़ी हुई है, क्योंकि जिन कर्मचारियों ने अपने सेवाकाल में 50 लाख से अधिक वेतन नहीं पाया है उनकी औसत पेंशन 1.25 करोड़ कैसे हो सकती हैं. 50,000 बिजली कर्मचारियों के लिए पेंशन फंड टैरिफ में 3.57 पैसा प्रति यूनिट जोड़कर जनरेट किया गया था, लेकिन अक्टूबर 1988 में 1100 इलेक्ट्रिकल और मेकेनिकल के डेपुटेशन पर आए कर्मचारियों के लिए सुप्रीम कोर्ट ने पेंशन देने का निर्णय सुनाया था. जिसका पैसा राज्य सरकार को देना था परंतु यह धनराशि नहीं दी गई.