राजस्थान

rajasthan

ETV Bharat / city

ब्लैक फंगस के खतरे से बचने के लिए ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की गुणवत्ता, मापदंड और उपयोग के दिशा-निर्देशों की पालना सुनिश्चित की जाए: एसीएस माइंस - राजस्थान में ब्लैक फंगस

अतिरिक्त मुख्य सचिव माइंस और राजस्थान सरकार की उच्चस्तरीय कोर ग्रुप के अध्यक्ष डॉ. सुबोध अग्रवाल ने बुधवार को ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की आवश्ययकता, उपलब्धता और विदेशों से आ रहे आक्सीजन कंसंट्रेटर की समीक्षा बैठक ली.

Oxygen concentrator,  black fungus
अतिरिक्त मुख्य सचिव माइंस डॉ. सुबोध अग्रवाल

By

Published : May 19, 2021, 6:54 PM IST

जयपुर.अतिरिक्त मुख्य सचिव माइंस और राज्य सरकार द्वारा गठित उच्चस्तरीय कोर ग्रुप के अध्यक्ष डॉ. सुबोध अग्रवाल ने कोर ग्रुप की बैठक ली. उन्होंने अधिकारियों को बताया कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बिना पूर्ण जानकारी के ऑक्सीजन कंसंट्रेटर के उपयोग और उसके दुष्प्रभाव से बढ़ते ब्लैक फंगस के मामलों पर चिंता जताई है. मुख्यमंत्री ने जरूरी दिशा-निर्देश भी दिए हैं.

पढे़ं: प्रदेश में ऑक्सीजन, रेमडेसिविर सहित आवश्यक वस्तुओं की कालाबाजारी करने वाले 73 लोग गिरफ्तार

डॉ. सुबोध अग्रवाल ने कहा कि राजस्थान में ब्लैक फंगस के बढ़ते मामलों को देखते हुए ऑक्सीजन कंसंट्रेटर का उपयोग करते समय निर्धारित मापदण्डों और निर्देशों की पालना सुनिश्चित की जाए.

ई-उपकरण पोर्टल के जरिए खरीदी

सुबोध अग्रवाल ने यह निर्देश ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की आवश्यकता, उपलब्धता और विदेशों से आ रहे आक्सीजन कंसंट्रेटर की समीक्षा करते हुए दिए. उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा ई-उपकरण पोर्टल के माध्यम से ऑक्सीजन कंसंट्रेटर की खरीद की जा रही है. उनमें निर्धारित मानकों का पूरा ध्यान रखा जा रहा है.

तय मानकों का ध्यान रखना जरूरी

दानदाताओं से मिले ऑक्सीजन कंंसंट्रेटरों, घरेलू उपयोग के लिए खरीदे जा रहे कंसंट्रेटरों की खरीद और उपयोग के समय भी तय मानकों का ध्यान रखना जरूरी है. उसके उपयोग के लिए जारी दिशा-निर्देशों की पालना सुनिश्चित की जानी भी आवश्यक है. स्थिति की गंभीरता को देखते हुए केन्द्र सरकार ने भी इसके लिए गाइडलाइन जारी की है.

क्या है ऑक्सीजन कंसंट्रेटर?

डॉ. अग्रवाल ने बताया कि ऑक्सीजन कंसंट्रेटर एक विद्युत चालित चिकित्सा उपकरण है. यह आसपास की हवा से ऑक्सीजन बनाता है. इस उपकरण के माध्यम से रोगी को बिस्तर पर ही केनुला के माध्यम से ऑक्सीजन उपलब्ध कराई जाती है. कंसंट्रेटर में 5 लीटर प्रति मिनट का फ्लो और 90 प्रतिशत से ज्यादा की शुद्धता और निरंतरता के साथ प्रवाह होना चाहिए. इस तरीके से आमतौर पर 21 प्रतिशत ऑक्सीजन का निर्माण होता है. फिल्टर बोटल में डिस्टिल वाटर का ही उपयोग किया जाना चाहिए.

ब्लैक फंगस का खतरा...

डॉ. अग्रवाल ने यह भी कहा कि निर्धारित मानकों के अनुसार कंसंट्रेटर का उपयोग नहीं करने से ब्लैक फंगस जैसे संभावित संक्रमण होने की संभावना ज्यादा हो जाती है. इससे रोगी को लाभ होने के स्थान पर गंभीर संक्रमण हो सकता है. ऑक्सीजन कंसंट्रेटर खरीदते समय उसके साथ उपयोग मैन्यूअल, मेंटनेंस मैन्यूअल, डिस्प्ले बोर्ड, फिल्टर बोटल, डिस्टिल बोटल समेत सभी जरूरी उपकरण और जानकारी से संबंधित सामग्री होना जरूरी है.

ABOUT THE AUTHOR

...view details