मुरैना। पूरे देश में टोल प्लाजा पर फास्ट्रैग सर्विस अनिवार्य रूप से लागू कर दी गई है. अब कोई भी व्यक्ति बिना फास्टैग कार्ड के टोल प्लाजा क्रॉस नहीं कर पाएगा. अगर उसे मजबूरन बिना फास्ट्रैग के टोल प्लाजा से गुजारना पड़ा, तो 2 गुना चार्ज देना होगा. यही नहीं 20 किलोमीटर के दायरे में रहने वाले स्थानीय लोगों को भी अब 275 रुपये प्रति माह फास्ट्रैग कार्ड के माध्यम से टोल टैक्स चुकाना पड़ेगा. यह आदेश सड़क परिवहन मंत्रालय द्वारा 16 फरवरी से प्रारंभ किया जायेगा, लेकिन अत्याधुनिक तकनीकी पर आधारित इस व्यवस्था में अनेक खामियां न केवल बाधा बनेगी, बल्कि आम नागरिक और टोल प्लाजा संचालक के बीच विवाद का कारण भी बनेगी.
डिजिटल इंडिया बनाने के क्षेत्र में केंद्र सरकार द्वारा लगातार प्रयोग किए जा रहे हैं. इसी कड़ी में सड़क परिवहन मंत्रालय भारत सरकार द्वारा टोल प्लाजा पर टोल टैक्स चुकाने की प्रक्रिया को भी डिजिटल किया जा रहा है. कुछ समय पहले भी भारत सरकार ने इस क्षेत्र में डिजिटल भुगतान करने की प्रक्रिया लागू की थी, लेकिन उस समय फास्ट्रैग प्रक्रिया को लोगों को समझने के अभाव में इसमें राहत दी गई थी. फास्ट्रैग पेमेंट करने वाले वाहनों को निकलने की अनुमति दी गई थी, लेकिन इस बार बिना डिजिटल पेमेंट किए वाहनों के लिए कोई भी लाइन आरक्षित नहीं की गई है, बल्कि वह किसी भी लाइन से डबल भुगतान कर ही गुजर सकेंगे.
टोल प्लाजा पर फास्ट्रैग हुआ अनिवार्य, चुकाना पड़ेगा 275 रुपये प्रतिमाह
टोल प्लाजा पर अब फास्ट्रैग सर्विस अनिवार्य रूप से लागू कर दिया गया है. अब कोई भी व्यक्ति बिना फास्टैग कार्ड के टोल प्लाजा क्रॉस नहीं कर पाएगा.
अनिवार्य फास्टैग पर ग्रामीणों ने जताई नाराजगी
फास्ट्रैग भुगतान में सर्वर होगी बड़ी समस्या
देश के सभी टोल प्लाजा पूर्णता डिजिटल पेमेंट पर आधारित हो जाएंगे. अब कोई भी वाहन बिना फास्ट्रैग के पेमेंट नहीं कर सकेगा. अगर उसे किसी कारण फास्ट्रैग से पेमेंट करना पड़ा, तो 2 गुना भुगतान करना होगा, लेकिन इस व्यवस्था में तकनीकी समस्याएं बहुत आ रही है, जिससे वाहन चालकों पर आर्थिक रूप से दोहरी मार पड़ रही है. पंजाब से गाड़ी लेकर आगरा से ग्वालियर की ओर जा रहे ट्रक चालक सुरेंद्र सिंह बताते हैं कि उनका भुगतान गाड़ी मालिक द्वारा फास्ट्रैग के माध्यम से कर दिया गया, लेकिन मुरैना-ग्वालियर के बीच स्थित पात्र इंडिया के टोल प्लाजा पर सर्वर डाउन होने के कारण भुगतान शो नहीं हो रहा था. उसने मालिक से कहकर उन्हें पेमेंट करने के लिए कहा. इस तरह दो बार भुगतान करने पर भी प्लाजा पर भुगतान नहीं हुआ. पटोल प्रबंधन द्वारा सुरेंद्र सिंह को उसकी गाड़ी के साथ लाइन से हटाकर एक तरफ खड़ा कर दिया गया. ऐसी स्थिति में 235 रुपये लगने वाला टोल चार्ज लगभग 1000 रुपये तक पहुंच गया.
टोल प्लाजा पर नहीं है रिचार्ज की व्यवस्था
टोल प्लाजा पर यह समस्या देखने में आ रही है कि यहां फास्ट्रैग कार्ड को रिचार्ज करने की व्यवस्था नहीं है, जिसकी वजह से ट्रक ऑपरेटर को अपना समय खराब करना पड़ रहा है. हालांकि यहां कंपनियों के काउंटर तो लगे हुए हैं, लेकिन तकनीकी कारणों से वह रिचार्ज नहीं कर पा रहे है. ट्रक ऑपरेटर राजू गुर्जर ने बताया कि काफी समय से टोल प्लाजा पर खड़े है. अपने फास्ट्रैग कार्ड को रिचार्ज कराना चाहते है, लेकिन यहां सुविधा नहीं होने की वजह से उसे परेशानी का सामना करना पड़ रहा है.
फास्ट्रैग कार्ड जारी करने वाली कंपनियों के लगे हैं काउंटर
पाथ इंडिया मुरैना टोल प्लाजा पर आईसीआईसीआई बैंक, एयरटेल डिजिटल पेमेंट के अलावा यस बैंक के काउंटर लगाए गए है, लेकिन इंटरनेट सर्विस और बैंकिंग सर्वर में तकनीकी कमियों की वजह से वह ट्रक ऑपरेटर को अपनी सुविधाएं नहीं दे पा रहे हैं.
पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों को भी लेना होगा फास्ट्रैग सुविधा का लाभ
सभी राष्ट्रीय राजमार्गों पर बने टोल प्लाजा के लिए स्थानीय प्रशासनिक अमले को भी फास्ट्रैग कार्ड की सुविधा का उपयोग करना अनिवार्य होगा. अब पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों के साथ-साथ विभिन्न विभागों के कर्मचारियों को भी ड्यूटी के दौरान फास्ट्रैग कार्ड का उपयोग करना होगा. हालांकि इसके लिए सरकार द्वारा इन्हें विशेष फास्ट्रैग कार्ड उपलब्ध कराने की योजना बनाई गई है.
केवल राजस्व कर्मचारियों को फास्टट्रैक सुविधा ना लेने की मिलेगी छूट
पाथ इंडिया टोल प्लाजा के मैनेजर आरपीएस यादव ने बताया कि शासन ने केवल वाहन चालकों, स्थानीय प्रशासन और पुलिस के लिए फास्ट्रैग सुविधा को अनिवार्य रूप से लेने का नियम बनाया है. राजस्व विभाग के कर्मचारियों को फास्ट्रैग कार्ड से मुक्त रखा गया है.
एग्रीकल्चर से जुड़े वाहन होंगे फास्ट्रैग से मुक्त
टोल टैक्स के डिजिटल भुगतान के लिए बनाए गए फास्ट्रैग कार्ड से कृषि से जुड़े वाहनों को मुक्त किया गया है.