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Suicide Risk in Love! सांसों की डोर तोड़ देता है अपनों का धोखा, महिलाएं ज्यादा होती हैं शिकार - इंदौर खुदकुशी समाचार

खुदकुशी के बढ़ते मामले फिलहाल चिंता बढ़ा रहे हैं, पुलिस की संजीवनी हेल्प डेस्क और मनोचिकित्सकों की कोशिश भी बढ़ते खुदकुशी के मामले नहीं रोक पा रही है. जान देने वालों में ज्यादातर संख्या नई उम्र की लड़कियों की है, जोकि अपनों से धोखा खाई होती हैं. जिसमें सबसे प्रमुख वजह (Suicide Risk in Love) है अधूरा इश्क या प्यार की नाकामी या फिर पूरे प्यार के बाद बनी धोखे की दीवार.

girl commits suicide for cheating in love
सांसों की डोर तोड़ देता है अपनों का धोखा

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Published : Nov 17, 2021, 2:22 PM IST

Updated : Dec 2, 2021, 2:13 PM IST

इंदौर। पिछले कुछ दिनों में शहर में खुदकुशी के अधिकतर मामलों में जान देने वाली युवती या महिलाएं ही रही हैं, बस इसी बात ने अचानक ध्यान आकर्षित किया कि आखिर महिलाएं ही क्यों खुदकुशी कर रही हैं, जब पड़ताल शुरू हुई तब पता चला कि जितनी महिलाओं या युवतियों ने खुदकुशी की है, उन सभी को किसी न किसी तरीके से धोखा मिला है, जिसमें सबसे अधिक अनुपात (Suicide Risk in Love) प्यार में मिला धोखा (Pchycratics Study on Suicide) है, जिसकी वजह से उन्होंने जान दी है.

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बेटी का जन्म बना विवाद की वजह

किशनगंज थाना क्षेत्र के शांति नगर में किराये के मकान में रहने वाली रजनी और सुभाष जोकि मूलत: मानपुर के थे, दोनों ने 2018 में घर से भागकर प्रेम विवाह किया था. परिजनों ने लड़की की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी, परिजनों को जब लड़की मिली तब वह अपने प्रेमी के साथ शादी कर चुकी थी. इसके बाद से दोनों यहीं रह रहे थे, इस बीच रजनी ने बेटी को जन्म दिया, जिसके बाद से ही दोनों के बीच विवाद शुरू हो गया. सुभाष का कहना था कि उसे बेटी नहीं बेटा चाहिए. इसी बात पर विवाद बढञता गया और अंतत: एक दिन रजनी ने अपनी चार माह की बेटी को जहर देने के बाद खुद भी जहर खा ली, जिससे दोनों की मौत हो गई.

काउंसलिंग करते पुलिसकर्मी

प्यार में मिला धोखा तो नर्स ने दे दी जान

छत्रीपुरा थाना क्षेत्र के वर्मा यूनियन हॉस्पिटल में सारिका नर्स का काम करती थी, जोकि एमओजी लाइन में रहती थी. इस दौरान उसकी जान-पहचान रायसेन में पदस्थ पुलिसकर्मी जय प्रकाश बघेल के साथ हो गई. उसने युवती को बताया कि वह शादीशुदा नहीं है, वह जब भी इंदौर जाता था तो सारिका के घर पर ही रूकता था, इसी दौरान सारिका को उसके शादीशुदा होने की जानकारी लग गई, फिर दोनों में विवाद हुआ और सारिका खुद को आग लगा ली. पुलिस इस मामले में सारिका के मोबाइल फोन की जांच की तो उसमें जयप्रकाश बघेल की जानकारी मिली, जय प्रकाश ने सारिका को झूठ बोलकर फंसाया था, इसी से हताश होकर उसने जान दे दी.

मर्चुरी के पास परिजन व पुलिस

डांस टीचर ने की आत्महत्या

परदेशीपुरा थाना क्षेत्र में रहने वाली डांस टीचर काजल जहर खाकर जान दे दी. काजल का उसी क्षेत्र के एक युवक से प्रेम-प्रसंग चल रहा था, इस बीच काजल के प्रेमी ने बात करना बंद कर दिया. इसके बाद दोनों के किसी बात को लेकर विवाद हुआ, जिसके बाद काजल घर गई और किसी से बात किये बिना अपने कमरे में चली गई और जहर खाकर सो गई. हालांकि, उसने कोई सुसाइड नोट नहीं छोड़ा था. मृतका के परिजनों के बयान के आधार पर पुलिस कार्रवाई कर रही है.

दहेज के लिए किया गया परेशान

कनाड़िया थाना क्षेत्र में रहने वाली अंकिता चौहान फांसी लगाकर अपनी जिंदगी खत्म कर ली, अंकिता की शादी क्षेत्र के ही एक युवक से कुछ दिनों पहले हुई थी, शादी के बाद से ही ससुराल वाले अंकिता को दहेज के लिए परेशान करने लगे और विरोध करने पर पति व पति के परिजन मारपीट करते थे. इन्हीं सब बातों से आहत होकर वह फांसी लगा ली. पुलिस मृतका के परिजनों के बयान के आधार पर दोषियों पर कार्रवाई करने की बात कह रही है.

नवीन मर्चुरी भवन

मनोचिकित्सक की यह है राय

मनोचिकित्सक वीएस पॉल का कहना है कि पुरुषों की अपेक्षा महिलाएं ज्यादा खुदकुशी करती हैं. अधिकतर महिलाएं भावनात्मक रूप से लोगों से जुड़ी होती हैं और जब उसे धोखा मिलता है तो वह पूरी तरह से टूट जाती है. इन्हीं सब कारणों के चलते वह आत्महत्या जैसा गंभीर कदम उठाने से भी पीछे नहीं हटती है. जिस तरह नवविवाहिता या नई उम्र की लड़कियां आत्महत्या जैसा कदम उठाती हैं तो उसमें भी भावनात्मक रूप से कमजोर होना और धोखा मिलना प्रमुख कारण है. इससे बचने के लिए धोखा खाई लड़कियों को परिजनों के साथ ही मित्रों के भी संपर्क में रहना चाहिए और लगातार उनसे अपनी परेशानियों को शेयर करना चाहिए. यदि उसके मन में इस तरह के खयाल आते हैं तो उसे परिजनों से शेयर करना चाहिए, ताकि समय पर सही मार्गदर्शन मिल सके.

संजीवनी हेल्प डेस्क की शुरुआत

आत्महत्या के मामलों में बढ़ोत्तरी के ग्राफ को कम करने के लिए पुलिस ने संजीवनी हेल्प डेस्क की भी शुरुआत की है, इसके जरिए यदि कोई डिप्रेशन में आया हुआ व्यक्ति अपनी परेशानियों के बारे में फोन करके बताता है तो पुलिसकर्मी उसे डिप्रेशन से उबारने की पूरी कोशिश करते हैं और उसकी पूरी मदद भी की जाती है. कई बार कई युवक और युवतियों ने इस हेल्प डेस्क की मदद ली है. जब भी पुलिस को इस तरह के मामलों की जानकारी मिलती है, फौरन पुलिसकर्मी पीड़ित की काउंसलिंग करते हैं और उसके परिजनों को भी जानकारी देते हैं.

Last Updated : Dec 2, 2021, 2:13 PM IST

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