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टैक्सी चालकों के साथ लगातार हो रहीं वारदाते,पुलिस ने किया चौकन्ना

टैक्सी चालकों में दहशत का माहौल है.पुलिस ने कि टैक्सी चालकों को चेतावनी जारी, टैक्सी ले जाते वक्त यात्रियों की लें पूरी जानकारी.

टैक्सी चालकों के साथ लगातार हो रहीं वारदाते,पुलिस ने किया चौकन्ना

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Published : Jul 24, 2019, 10:28 PM IST

ग्वालियर। ग्वालियर के स्टेशन क्षेत्र और महाराज बाड़े पर खड़े होने वाले टैक्सी चालकों में इन दिनों दहशत का माहौल है. चालकों के साथियों के साथ पिछले 2 महीनों में जो दिल दहला देने वाली घटनाएं हुई है जिससे वे बहुत ही डरे हुए हैं. पुलिस ने टैक्सी चालकों को चेतावनी जारी की है.

बता दे कि ग्वालियर के स्टेशन क्षेत्र से 22 मई को एक स्विफ्ट कार को तीन लोगों ने झांसी के लिए हायर किया था कार को गौरव तोमर नामक ड्राइवर चला रहा था और तीन अज्ञात यात्रियों के साथ वह आगे बढ़ा .करीब डेढ़ महीने बाद गौरव की लाश उत्तर प्रदेश के हमीरपुर इलाके में मिली.

उनमें से एक बदमाश धर्मेंद्र रायकवार के सीसीटीवी फुटेज में स्टेशन क्षेत्र पर कैद हुआ था. जिसकी पहचान के बाद उसे दतिया से गिरफ्तार किया गया.दतिया में पकड़े जाने के बाद धर्मेंद्र ने अपने तीन साथियों के नाम बताए जिसमें एक का नाम विनोद कुशवाह एवं एक अन्य का नाम बताया. पकड़े जाने पर इन लोगों ने स्वीकार किया कि उन्होनें झांसी से पहले गौरव का गला दबाकर हत्या कर दिया था और उसकी लाश को फेंक दिया.इसी तरह क्षेत्र से ही रिंकू बरैया नामक चालक को अज्ञात बदमाश अपने साथ ले गए और उसे भी गला घोट कर मार डाला उसकी लाश भी पुलिस ने हाईवे से बरामद की है.

टैक्सी चालकों के साथ लगातार हो रहीं वारदाते,पुलिस ने किया चौकन्ना

इसके अलावा विक्रम धाकड़ नामक टैक्सी चालक पिछले दिनों बदमाशों के जुल्म का शिकार होते-होते बच गया उसने दतिया के दिनारा इलाके में बदमाशों द्वारा कट्टा दिखाए जाने के बाद उसने अपना मोबाइल नगदी और कार को छोड़ दिया इस कारण वह जंगल में उतर कर किसी तरह बच गया.

टैक्सी चालकों के साथ आए दिन हो रही लूट और हत्या की वारदातों से वे दहशत में है.ऐसे में पुलिस विभाग ने उन्हें चेतावनी जारी किया है और कहा है कि बाहर जाते समय के संबंधित यात्री का आधार कार्ड आईडेंटिफिकेशन मोबाइल नंबर जरूर लें और उसे अपने किसी नजदीकी और पुलिस को जरूर दें ताकि जरूरत पड़ने पर उन्हें आसानी से खोजा जा सके.लेकिन टैक्सी चालकों का कहना है कि उनमें से 90 फ़ीसदी लोग प्राइवेट टैक्सी चलाते हैं यानी उनकी कार टैक्सी के रूप में रजिस्टर्ड नहीं है ऐसे में वे लोग आपसी प्रतिस्पर्धा में घिरे रहते हैं और कई बार रिस्क को उठा ले जाते हैं जो उनके लिए जानलेवा साबित हो रहा हैं.

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