देवास। खातेगांव में इन दिनों क्षेत्र के हरे-भरे जंगल को लकड़ी माफियाओं की ऐसी नजर लगी की जंगल दिन प्रतिदिन मैदान में बदलता जा रहा है. जंगल में सागौन के पेड़ों की अवैध कटाई के बाद मौके पर ही सिल्लियां भी बनाई जाती हैं, काम की लकड़ी अपने साथ ले जाते हैं और बाकी अवशेष मौके पर छोड़ जाते हैं. जिससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि जंगल की अंधाधुंध कटाई लगातार जारी है.
वन विभाग के कर्मचारियों की उदासीनता के चलते सागौन के विशालकाय पेड़ों की दिन-रात अवैध कटाई से क्षेत्र के जंगल का अस्तित्व खतरे में है. एक तरफ तो मध्यप्रदेश सरकार खिवनी अभ्यारण्य को पर्यटन की दृष्टि से विकसित कर लाखों रूपए खर्चकर विकास कार्य करवाया जा रहा है. वही दूसरी ओर वन विभाग के जिम्मेदारों की उदासीनता के चलते जंगल से हरे-भरे सागौन के पेड़ों की अवैध कटाई धड़ल्ले से हो रही है.
वन परिक्षेत्र खिवनी अभ्यारण्य में पेड़ों की कटाई
जानकारी के अनुसार वन परिक्षेत्र खिवनी अभ्यारण्य के अन्तर्गत आने वाले जंगल के कक्षों में इन दिनों सागौन के पेड़ों की कटाई लगातार जारी है. जिसका ताजा उदाहरण ग्राम ककडदी से लगे जंगल का है. जहां जंगल के कक्ष क्रमांक 201 में शनिवार दोपहर में वन विभाग ने ग्रामीणों की मदद से 13 नग सागौन की सिल्लियां जंगल से बरामद की हैं. लकड़ी माफिया सिल्लियां जंगल मे छोड़कर भाग गए.