छिंदवाड़ा। मध्यप्रदेश में बढ़ते कोरोना मामले को देखते हुए एक तरफ सरकार तमाम तरह की सख्ती दिखा रही है. सरकार ने नाइट कर्फ्यू लगाया है, वहीं सात शहरों में एक दिन का लॉकडाउन भी लगाने के भी सरकार ने आदेश दे दिए हैं और महाराष्ट्र से आने वालों को आरटीपीसीआर टेस्ट कराना भी अनिवार्य किया है, लेकिन सरकार के आदेश के बाद भी कोरोना को लेकर प्रशासन का गैर जिम्मेदार रवैया छिंदवाड़ा में नजर आ रहा है. जहां ईटीवी भारत ने रियलटी टेस्ट किया तो कहानी उल्ट ही नजर आई.
कोविड-19 संक्रमण के चलते 10 दिनों के लिए बसों का आवागमन महाराष्ट्र में बंद कर दिया गया है. वहीं चेक पोस्ट लगाकर महाराष्ट्र से सभी आने वाले का आरटीपीसीआर (RTPCR) रिपोर्ट लाना अनिवार्य है. वहीं ईटीवी भारत ने रियलिटी टेस्ट किया तो महाराष्ट्र बॉर्डर पर वास्तविकता कुछ और है. लेकिन कलेक्टर ने कहा किसी प्रकार की कोई दिक्कत नहीं है.
ईटीवी भारत ने मध्यप्रदेश और महाराष्ट्र की बॉर्डर पर किया रियलिटी टेस्ट
बॉर्डर पर महज एक हवलदार और एसआई के भरोसे चेकपोस्ट चल रही है. वहां पर जांच करने वाले अधिकारी बैठे हैं, जो उससे उन लोगों का फीवर चेक कर उनकी जानकारी लिख रहे हैं, अधिकांश लोग बिना RTPCR रिपोर्ट के छिंदवाड़ा के बॉर्डर के क्रॉस हुए, उन्हें रोका गया, जानकारी नोट की गई और जिले में प्रवेश दे दिया गया. सिर्फ इक्का-दुक्का लोग ही RTPCR रिपोर्ट लेकर आए.
छिंदवाड़ा से महाराष्ट्र के नागपुर जाने आने वाले रास्ते पर चेक पोस्ट
शासन द्वारा दिए गए गाइडलाइन के अनुसार मध्यप्रदेश के सभी बॉर्डर जो महाराष्ट्र से लगी हुई है, वहां पर आवागमन को लेकर चेकपोस्ट और व्यवस्थाएं बनाई गई है कि महाराष्ट्र से आने वाले सभी व्यक्तियों का RTPCR रिपोर्ट होने पर ही उन्हें अंदर आने दिया जाए.