भोपाल।मुख्मयंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि नगरीय विकास एवं आवास विभाग ने 10 लाख से अधिक आबादी वाले नगरीय निकायों में महापौर का मानदेय 20 हजार रुपये प्रतिमाह और पांच हजार रुपये भत्ता, अध्यक्ष का मानदेय 15 हजार रुपये प्रतिमाह और चार हजार रुपये भत्ता, पार्षद का मानदेय 10 हजार रुपये किए जाने का प्रस्ताव रखा था. अब उपाध्यक्ष को दो हजार रुपये की जगह चार हजार रुपये मानदेय और सत्कार भत्ता आठ सौ रुपये से बढ़ाकर डेढ़ हजार रुपये प्रतिमाह दिया जाएगा. पार्षद को एक हजार 800 रुपये के स्थान पर तीन हजार रुपये दिए जाएंगे. प्रति बैठक भत्ता 195 रुपये के स्थान पर तीन सौ रुपये होगा, जो प्रतिमाह 900 रुपये से अधिक नहीं होगा. इसी तरह नगर परिषद के अध्यक्ष का मानदेय दो हजार 400 रुपये से बढ़ाकर साढ़े तीन किया जाएगा. इन्हें सत्कार भत्ता प्रतिमाह साढ़े चार हजार रुपये देने का प्रस्ताव है. उपाध्यक्ष का वेतन तीन हजार रुपये मानदेय और सत्कार भत्ता एक हजार 200 रुपये दिया जाएगा. पार्षदों को दो हजार रुपये प्रतिमाह मानदेय बढ़ाकर चार हजार मिलेगा.
1760 करोड़ खर्च होंगे सड़कों पर :निकायों की सड़कों के लिए 1 हजार 760 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत कर रहे हैं. निकायों के सीएमओ के पद रिक्त हैं, उन्हें भरने के लिए कैडर बनाएंगे. कोई वार्ड का मुख्यमंत्री है, कोई प्रदेश का मुख्यमंत्री है. अफसरों को सख्त निर्देश दे रहे हैं कि मिलकर काम करें. सीएम ने भ्रष्ट अधिकारियों को नसीहत देते हुए कहा कि भेंट पूजा वालों को किसी कीमत पर नहीं छोडूंगा. सब एक जैसे नहीं होते. बहुत से अच्छे भी होते हैं. शिवराज ने कहा कि बिना पढ़े लिखे कोई कागज पर दस्तखत मत करना, वरना आप ही फंसोगे. मुख्यमंत्री शिवराज ने नवनिर्वाचित पार्षदों को टिप्स भी दी.