रेवाड़ी: रेवाड़ी में एक एडवोकेट ने पर्यावरण संरक्षण को लेकर एक सरहानीय पहल की है. शादी में आए बारातियों को ससुराल पक्ष के लोगों को पौंधे भेंट करके एक अनुठा उदाहरण पेश किया है.
पर्यावरण सरंक्षण के मद्देनजर हुई शादी
इस शादी में न तो कोई पटाखा फोड़ा गया नहीं किसी प्रकार का नशे या शराब का सेवन किया गया. ये शादी एक प्रकार से मिसाल बनी. आपको बता दें कि इससे पहले शादी के कार्ड भी कागज के कार्ड पर नहीं बल्की रुमाल पर छपवाएं गए थे.
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दहेज रहित शादी
ये शादी जिला के शहबाजपुर खालसा गांव की है जहां एडवोकेट परीक्षित यादव की शादी महेन्द्रगढ़ जिला के गांव चंदपुरा निवासी व दिल्ली पुलिसकर्मी अल्का यादव के साथ हुई थी. इस शादी में किसी भी प्रकार का दहेज नहीं दिया गया. इस दहेज रहित शादी में मात्र नारियल और एक रुपये का शगुन दिया गया.
रुमाल पर छपवाए थे शादी कार्ड
शादी से पूर्व प्रक्षित यादव ने कागज के शादी कार्ड की बजाय रूमाल पर शादी निमंत्रण छपवाकर रिश्तेदारों व दोस्तों को दिये थे. रूमाल पर छपे इस निमंत्रण की खास बात यह है कि एक बार धोने के बाद इस रूमाल का दोबारा प्रयोग किया जा सकता है.
201 एक पौधे किए भेंट
परीक्षित ने बताया कि शादी में दोस्तों ने एक भी पटाखा नहीं फोड़ा गया और ना ही किसी भी बाराती ने कोई नशा किया. स्टेज पर आशीर्वाद रीति-रिवाज के दौरान सभी को पौधें देकर सम्मानित किया. उनके ससुर तेजप्रकाश यादव ने 201 पौधें भेंट स्वरूप बांटे किये थे.