चंडीगढ़: प्रदेश सरकार सचिव केशनी आनंद अरोड़ा ने गुरूग्राम और फरीदाबाद जिलों में कोरोना संक्रमण की स्थिति का जायजा लिया. इस दौरान उन्होंने पॉजिटिव आने वाले मरीजों के लिए सरकारी और निजी अस्पतालों में पर्याप्त संख्या में बिस्तरों की व्यवस्था करने के आदेश दिए.
कोरोना को लेकर मुख्य सचिव की बैठक
बता दें कि वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ली गई बैठक में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजेश खुल्लर भी मौजूद थे. इस बैठक में मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजेश खुल्लर ने राज्य स्तर और जिला स्तर के लिए अलग-अलग एपीटोमोलॉजिकल मॉडल तैयार करने पर जोर दिया, ताकि भविष्य में कोरोना के फैलाव का अनुमान लगाया जा सके.
अस्पताल में 1000 बिस्तर बनाने के दिए आदेश
उन्होंने कहा कि गुरुग्राम के अस्पतालों में कम से कम एक हजार बिस्तरों की व्यवस्था कोविड-19 मरीजों के लिए करने को कहा और इनमें से 500 बिस्तरों के साथ में ऑक्सीजन की सुविधा हो. इसके अलावा उन्होंने कम से कम 100 बिस्तरों के साथ वेंटिलेटर भी उपलब्ध होने की बात कही. उन्होंने कहा कि प्रत्येक कंटेनमेंट जोन के लिए एक अधिकारी की ड्यूटी लगाई जाए, जो 24 घंटे वहां की व्यवस्थाओं पर नजर रखेगा.
कंटेनमेंट जोन को लेकर कही ये बात
हर जोन में किसी भी बीमारी से ग्रस्त व्यक्तियों से ये पूछा जाए कि वे अपना इलाज वहीं अपने घर में रहकर करवाना चाहते हैं या कहीं और दाखिल होना चाहते हैं, जो व्यक्ति कंटेनमेंट जोन में ही अपने घर में रहकर इलाज करवाना चाहता है तो उससे इस बारे में लिखित सहमति भी ली जाए. खुल्लर ने कहा कि हरियाणा की किसी भी लैब में जब किसी व्यक्ति के सैंपल का टेस्ट हो, उस व्यक्ति के गृह जिला के स्वास्थ्य अधिकारियों को इस बारे में सूचित किया जाए कि उक्त व्यक्ति ने सैंपल दिया है.
पीजीआई में बढ़ी कोरोना टेस्ट क्षमता
उन्होंने कहा कि सैंपल लेने के बाद यदि टेस्ट रिपोर्ट नेगिटिव आती है तो उस व्यक्ति को इस बारे में तत्काल एसएमएस चला जाए. बैठक में स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव राजीव अरोड़ा ने बताया कि हरियाणा में कोविड-19 के लिए टेस्ट सुविधा की कमी नही है. रोहतक पीजीआईएमएस की टेस्टिंग सुविधा को अपग्रेड किया गया है और अब उसकी क्षमता 3 हजार टेस्ट प्रतिदिन की हो गई है. इसके अलावा, गुरुग्राम और फरीदाबाद में भी टेस्टिंग लैब हैं.
निजी अस्पताल को दिए ये आदेश
अरोड़ा ने बताया कि गुरुग्राम में बैड्स की कमी नहीं है. यहां पर 500 से ज्यादा बैड्स वाले 8-9 प्राइवेट अस्पताल हैं, जिनके यदि 50 प्रतिशत बैड्स भी कोरोना मरीजों के लिए आरक्षित किए जाएं तो काफी होंगे. साथ ही उन्होंने बताया कि सभी प्राइवेट अस्पतालों को ये स्पष्ट निर्देश दे दिए गए हैं कि वे किसी भी कोविड-19 मरीज को उनके यहां इलाज के लिए मना नही कर सकते.
गुरुग्राम में 63 कंटेनमेंट जोन है
गुरूग्राम से अतिरिक्त मुख्य सचिव वीएस कुण्डु ने बताया कि जिला में कोविड-19 को लेकर रेपिड रिस्पोंस टीम की मोनिटरिंग उपायुक्त अमित खत्री और नगर निगम आयुक्त विनय प्रताप सिंह करेंगे और सिविल सर्जन तथा उनकी टीम मरीजों को अस्पताल में भेजने का कार्य देखेगी. बता दें कि इस समय गुरुग्राम में 63 कंटेनमेंट जोन हैं.