नई दिल्ली:निशानेबाजी में ओलंपिक मेडल विजेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौर (Rajyavardhan Singh Rathore) बुधवार को द्वारका पहुंचे. यहां वह इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी (Indraprastha University) में आयोजित 17वें खेल प्रतियोगिता में बतौर मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए. इस दौरान उन्होंने छात्रों को संबोधित भी किया.
राज्यवर्धन सिंह राठौर ने कहा कि एक जीत के पीछे कई हार छुपी होती है. एक पदक के पीछे कई नाकामी छुपी होती है. यही तो किसी भी खेल स्पर्धा की ख़ासियत है. जीत और हार इसके दो पहलू हैं. हमारा फ़ोकस परिणाम पर होना चाहिए, न कि हार-जीत के द्वन्द पर. ज्ञान बिना एक्शन बेकार है. अगर असफलता बार-बार मिल रही है तो हमें अपने ज्ञान और एक्शन दोनों पर पुनर्विचार की जरूरत है. हमें खुद से संवाद की जरूरत है, तभी सुधार संभव है.
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