नई दिल्ली :नॉर्थ एमसीडी में मंगलवार को आखिरकार वार्ड कमेटी के चुनाव (North MCD Internal Election) की प्रक्रिया संपन्न हो गई. सब लोगों की नजरें वार्ड कमेटी के चुनाव में नरेला जोन के चुनावों पर थी, जहां AAP और भाजपा में बराबरी की कड़ाके की टक्कर थी. ऐसा ही आज देखने को मिला भी, जहां चुनाव शुरू होने के वक्त पार्षदों में मतदान के समय मोबाइल फोन होने को लेकर जबरदस्त बहस AAP और भाजपा में देखने को मिली, जिसके बाद आखिरकार चुनावों की प्रक्रिया शुरू हुई.
नरेला वार्ड कमेटी के चुनाव की बात करें तो पिछले 2 साल से यह चुनाव बेहद दिलचस्प होते रहे हैं. इस साल भी ऐसा ही कुछ देखने को मिला, जहां सिर्फ 9 वोट होने के बावजूद भी आप ने नरेला जोन में चेयरमैन पद पर जीत हासिल करके कब्जा किया. दरअसल आप को नरेला में चेयरमैन पद पर जीत भाजपा के महिला पार्षदों की नाराजगी और क्रॉस वोटिंग के जरिए प्राप्त हुई है.
नरेला जोन में चेयरमैन और डिप्टी चेयरमैन पद पर चुनाव के मद्देनजर कुल 22 पार्षदों ने वोट डालने थे, जिसमें 16 चुने हुए पार्षद और 6 नॉमिनेटेड पार्षद थे, जिसमें आप के पास सिर्फ 9 पार्षदों का ही समर्थन था, लेकिन इसके बावजूद भी आप ने जीत दर्ज की, जिसकी सबसे बड़ी वजह भाजपा की महिला पार्षदों की नाराजगी है.
भाजपा की नांगलोई से पार्षद ज्योति रछोया ने जहां अपनी नाराजगी के चलते चुनाव में आई ही नहीं. वहीं दो पार्षदों ने क्रॉस वोटिंग की, जिसके चलते नरेला में आप के चेयरमैन पद उम्मीदवार को 1 वोट से जीत हासिल हुई.
सूत्रों की मानें तो सविता खत्री के साथ एक और भाजपा के पार्षद ने क्रॉस वोटिंग की है, जिसकी वजह से AAP को जीत हासिल हुई है, जबकि नरेला जोन के डिप्टी चेयरमैन पद के चुनाव में भाजपा को जीत तो मिली है, लेकिन इसे कॉन्सोलेशन प्राइस के रूप में देखा जा रहा है.