बैंकॉक:आत्मविश्वास से भरा भारत रविवार को थॉमस कप बैडमिंटन टूर्नामेंट के फाइनल में 14 बार के चैंपियन इंडोनेशिया के खिलाफ एक बार फिर इतिहास रचने के इरादे से उतरेगा. गत चैंपियन इंडोनेशिया का इस टूर्नामेंट में रिकॉर्ड शानदार रहा है और टीम मौजूदा टूर्नामेंट में अब तक अजेय रही है. भारतीय पुरुष टीम ने हालांकि मलेशिया और डेनमार्क जैसी टीम को हराकर पहली बार फाइनल में जगह बनाई है और दिखाया है कि वे किसी भी टीम को हराने की क्षमता रखते हैं.
भारत के लिए यह एतिहासिक लम्हा है. अपने से बेहतर रैंकिंग वाली टीम के खिलाफ भारतीय खिलाड़ियों में आत्मविश्वास की कोई कमी नहीं दिखी और पिछले दो मैच में पिछड़ने के बावजूद टीम ने मानसिक मजबूती दिखाते हुए जीत दर्ज की. इंडोनेशिया की टीम ने टूर्नामेंट में अब तक कोई मुकाबला नहीं गंवाया है. भारत को एकमात्र शिकस्त का सामना ग्रुप चरण में चीनी ताइपे के खिलाफ करना पड़ा.
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इंडोनेशिया ने नॉकआउट चरण में जून और जापान को हराया तो भारत ने पांच बार के पूर्व चैंपियन मलेशिया और 2016 के विजेता डेनमार्क को शिकस्त दी. भारत के स्टार पुरुष खिलाड़ियों किदांबी श्रीकांत और एसएस प्रणय ने जिम्मेदारी अपने कंधों पर उठाई है. अब तक अपने सभी पांच मुकाबले जीते हैं. सात्विकसाईराज रंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी की पुरुष युगल जोड़ी ने भी प्रभावी प्रदर्शन किया है.
कृष्ण प्रसाद गारगा और विष्णुवर्धन गौड़ पंजाला की युवा जोड़ी कमजोर कड़ी साबित हुई है लेकिन मलेशिया और डेनमार्क के खिलाफ हार के दौरान इन्होंने कड़ी चुनौती पेश की. भारत फाइनल में दूसरी युगल जोड़ी के रूप में एक बार फिर एमआर अर्जुन और ध्रुव कपिला को उतार सकता है. इस जोड़ी ने राउंड रोबिन प्रारूप में दो मुकाबले खेले जिसमें से एक में उन्होंने जीत दर्ज की जबकि दूसरे में उन्हें हार का सामना करना पड़ा.
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टूर्नामेंट की शुरुआत में भोजन विषाक्तता से परेशान दुनिया के नौवें नंबर के खिलाड़ी लक्ष्य सेन ने टुकड़ों में अच्छा प्रदर्शन किया है लेकिन पिछले दो मैच में टीम को सकारात्मक शुरुआत दिलाने में नाकाम रहे हैं. रविवार को लक्ष्य को दुनिया के चौथे नंबर के खिलाड़ी एंथोनी सिनिसुका गिनटिंग से भिड़ना पड़ सकता है और भारतीय खिलाड़ी इंडोनेशिया के खिलाड़ी के खिलाफ पिछले मैच में अपने प्रदर्शन से प्रेरणा लेना चाहेगा जब मार्च में जर्मन ओपन के दौरान उन्होंने सीधे गेम में आसान जीत दर्ज की थी.
श्रीकांत के दुनिया के आठवें नंबर के खिलाड़ी जोनाथन क्रिस्टी से भिड़ने की उम्मीद है जो शानदार फॉर्म में चल रहे हैं. क्रिस्टी स्विस ओपन का खिताब जीतने के अलावा कोरिया ओपन और बैडमिंटन एशिया चैंपियनशिप में उप विजेता रहे. श्रीकांत ने क्रिस्टी के खिलाफ चार मुकाबले जीते हैं जबकि पांच में उन्हें हार का सामना करना पड़ा. भारतीय खिालड़ी ने हालांकि इस साल क्रिस्टी के खिलाफ दो करीबी मुकाबले गंवाए हैं और पिछले मुकाबलों में हार का बदला चुकता करने के इरादे से उतरेंगे.
अगर मुकाबला करीबी रहता है तो फिर प्रणय को दुनिया के 24वें नंबर के खिलाड़ी शेसार हिरेन रुस्तावितो का सामना करना पड़ सकता है. प्रणय ने सेमीफाइनल में टखने में चोट के बावजूद डेनमार्क के खिलाफ भारत को जीत दिलाई थी. दुनिया के 23वें नंबर के खिलाड़ी रुस्तावितो के खिलाफ प्रणय ने अब तक अपने दोनों मुकाबले जीते हैं लेकिन वह पिछले पांच साल में इस युवा खिलाड़ी से नहीं भिड़े हैं.
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टीम के साथ मौजूद पूर्व भारतीय कोच विमल कुमार ने पीटीआई को बताया, हमारे पास काफी संतुलित टीम है, युगल खिलाड़ी काफी अच्छा योगदान दे रहे हैं. सभी खिलाड़ियों ने शानदार प्रदर्शन किया है और करीबी मुकाबलों में जीत दर्ज की है. इसलिए मुझे लगता है कि इंडोनेशिया के खिलाफ हमारे पास बराबरी का मौका है. उन्होंने कहा, यहां के हालात काफी अलग हैं, हॉल में काफी ड्रिफ्ट है इसलिए जो खिलाड़ी सामंजस्य बैठाएंगे उनके पास सफलता हासिल करने का बेहतर मौका होगा। यह महत्वपूर्ण है.
इंडोनेशिया के खिलाफ कुछ सर्वश्रेष्ठ युगल खिलाड़ी हैं और दुनिया की शीर्ष दो युगल जोड़ियों के तीन खिलाड़ी केविन संजय सुकामुल्जो, मोहम्मद अहसन और हेंद्रा सेतियावान उसके हैं. इसके अलावा फजर अलफियान और मोहम्मद रियान अरदियांतो की दुनिया की सातवें नंबर की पुरुष युगल जोड़ी भी इंडोनेशियाई है.
चिराग और सात्विक ने हालांकि 2018 एशिया टीम चैंपियनशिप में सुकामुल्जो और अहसन को हराया था और डेनमार्क के महान खिलाड़ी मथियास बो की मौजूदगी में भारतीय जोड़ी एक बार फिर जीत दर्ज करने के इरादे से उतरेगी.