हरिद्वार :10 सितंबर को देशभर में गणेश चतुर्थी का त्योहार मनाया जा रहा है.कोरोना वायरस ने जहां हर त्योहार व धार्मिक कार्यक्रमों पर असर डाला है, वहीं देशभर में मनाए जाने वाले गणपति महोत्सव पर भी इसका खासा असर देखने को मिला है. कोरोना के नियमों का पालन करते हुए हरिद्वार में गणेश चतुर्थी मनाई जा रही है.
हरिद्वार के महामाया गणपति संगठन द्वारा हर साल अलग अंदाज से गणेश चतुर्थी मनायी जाती है. संगठन ने इस साल कोरोना को देखते हुए गणपति महोत्सव को वैक्सीनेशन की थीम देकर काफी सूक्ष्म रूप में मनाया है. उन्होंने गणपति महाराज की सवारी मूषक को कोरोना वैक्सीन लगवाते हुए दिखाया है. साथ ही गणपति महाराज को भी वैक्सीन की बोतल में बिठाया है.
गणेश चतुर्थी का अलग अंदाज इसके साथ ही मूर्ति पूरी तरह इको फ्रेंडली है और गणपति बाल रूप में हैं. महामाया संगठन ने बताया कि मूर्ति को बाल रूप देने का उद्देश्य तीसरी लहर के प्रति लोगों को जागरूक करना है. जैसे कहा जा रहा है कि तीसरी लहर बच्चों के लिए काफी खतरनाक है. उसी को देखते हुए भगवान गणेश का बाल रूप दिखाया है और लोगों को वैक्सीनेशन के लिए प्रेरित करने का प्रयास किया है.
महामाया गणपति संगठन के प्रमुख पंडित देवेंद्र कृष्ण आचार्य ने बताया कि भगवान गणपति की प्रतिमा वैक्सीन की बोतल में दिखाया है. साथ ही गणेश की सवारी मूषक को खुद भगवान गणेश वैक्सीन लगाते हुए दिखाए गए हैं. भगवान गणेश की प्रतिमा के हाथ में इस बार किसी बज्र के स्थान पर वैक्सीन की बोतल को दिया गया है. वहीं दूसरे हाथ में इंजेक्शन दिया है जो कि अपने आप में लोगों को कोरोना के प्रति जागरूक करेगा और वैक्सीन लगवाने के लिए प्रेरित करेगा.
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धीरज अनेजा का कहना है कि कोरोना काल के कारण गणपति को काफी सूक्ष्म रूप में विराजमान किया है. गणपति महाराज से प्रार्थना की है कि वह जल्द इस कोरोना जैसी महामारी को हर लें और पहले की तरह ही जिस तरह हम धूमधाम से गणपति बनाया करते थे, उसी तरह अगले वर्ष उससे ज्यादा धूमधाम से आपको लाने का प्रयास करेंगे.
इस बार हमने वैक्सीनेशन के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए वैक्सीनेशन की थीम का सहारा लिया है. इस बार की थीम में भगवान गणेश खुद मूषक को इंजेक्शन लगा रहे हैं. इसके साथ ही भगवान गणपति को वैक्सीन की बोतल में बैठा कर दर्शाया गया है जिससे लोग वैक्सीन लगवाने को प्रेरित हों.