बैतूल/नर्मदापुरम।हजरत निजामुद्दीन से चलने वाली 12804 'स्वर्ण जयंती एक्सप्रेस' जब इटारसी और बैतूल के बीच पहुंची, तभी ट्रेन के पैंट्रीकार के मैनेजर और कर्मचारियों द्वारा नेवल डाकयार्ड की DSC प्लाटून में पदस्थ सेना के जवान विलास नायक के साथ मारपीट की गई. इसके बाद मारपीट की घटना का पता चलते ही जीआरपी पुलिस द्वारा घायल जवान को बैतूल स्टेशन पर उतरवाकर मेडिकल व उपचार के लिए जिला अस्पताल भेजा गया, जहां जवान का इलाज जारी है. फिलहाल मामले में जीआरपी पुलिस और रेल प्रबंधन द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई है.
नमाज और मंत्रों को लेकर विवाद:घटना को लेकर जवान का कहना है कि, "जिस कोच में मैं सफर कर रहा था, उस कोच में कुछ मुस्लिम भाई भी यात्रा कर रहे थे. वे लोग सुबह-दोपहर और शाम के समय रास्ता रोककर नमाज पढ़ रहे थे, मैंने बाथरूम जाने के लिए जब उनसे रास्ता मांगा तो नमाजियों ने रास्ता नहीं दिया. दो बार इस तरह का घटनाक्रम हुआ, तीसरी बार शाम के समय भी उन्होंने मुझे जाने नहीं दिया और रास्ता रोककर रखा. मैने उनसे कहा कि, ये सब गलत है अगर आप लोग रास्ता रोककर नमाज पढ़ेंगे, तो मैं भी मंत्रों का जाप करूंगा. इतना कहकर मैं रास्ते में बैठ कर मंत्र का जाप करने लगा, तभी पैंट्रीकार के कर्मचारी ने मुझे रास्ते से हटने के लिए कहा तो मैंने उनसे कहा कि जब मुस्लिम भाई रास्ता रोककर नमाज पढ़ रहे थे, तब आपने उन्हें नहीं हटाया और मुझे हटा रहे हो. मेरी और उनकी कुछ देर बहस हुई, इसके बाद वे अपने सीनियर और कुछ साथियों को साथ लाकर विवाद करने लगे. बाद में तीन लोगों ने मेरे साथ जमकर मारपीट की, इस घटना को बोगी में बैठे सभी लोग देखते रहे, लेकिन किसी ने भी बीच बचाव नहीं किया."