अनंतनाग: इंसान के भीतर कुछ करने का हौसला बुलंद हो तो बड़ी से बड़ी से बड़ी अड़चन भी छोटी लगती है. इसका जीता-जागता उदाहरण कश्मीर के बिजबेहरा क्षेत्र के 46 साल के जावेद अहमद टाक हैं. जम्मू कश्मीर के अनंतनाग जिला निवासी जावेद अहमद टाक वह शख्स हैं, जिन्हें हाल ही में राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने पद्मश्री से नवाजा है.
जावेद अहमद ने व्हीलचेयर के सहारे समाजसेवा कर मानवता की नई मिसाल कायम है. उनके साहस और पराक्रम के लिए उन्हें विभिन्न पुरस्कारों से नवाजा जा चुका है.
जावेद अहमद टाक 21 मार्च 1997 में कश्मीर में एक संघर्ष के दौरान अज्ञात बंदूकधारियों ने गोली मार दी थी. इस हमले में उनकी रीढ़ की हड्डी टूट गई थी और वह स्थायी रूप से दिव्यांग हो गए थे. लेकिन उसके बाद उन्होंने हार नहीं मानी और समाज सेवा में खुद को व्यस्त कर लिया.