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भारत के लिए बड़ा खतरा है अवैध घुसपैठ: असम सीएम

असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा (Assam Chief Minister Himanta Biswa Sarma) ने शनिवार को कहा कि अवैध घुसपैठ का मुद्दा देश की सुरक्षा के लिए एक गंभीर खतरा है. पढ़िए ईटीवी भारत के वरिष्ठ संवाददाता गौतम देबरॉय की रिपोर्ट..

Assam CM Himanta Biswa Sarma
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा

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Published : Apr 30, 2022, 9:58 PM IST

Updated : Apr 30, 2022, 10:57 PM IST

नई दिल्ली:असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा (Assam Chief Minister Himanta Biswa Sarma) ने शनिवार को कहा कि अवैध घुसपैठ का मुद्दा देश की सुरक्षा के लिए एक गंभीर खतरा है. उन्होंने ईटीवी भारत से बात करते हुए कहा कि 1979 का असम आंदोलन अवैध घुसपैठियों के खिलाफ हुआ क्योंकि राज्य के कुछ निर्वाचन क्षेत्रों में मतदाताओं की संख्या में अचानक वृद्धि हुई थी. असम पहले से ही अवैध घुसपैठ की समस्या से जूझ रहा है और अब यह मुद्दा पूरे भारत में फैल गया है.

उन्होंने कहा कि बंगाल भी इसी तरह के मुद्दों का गवाह रहा है. मैं जानता हूं, दिल्ली में ऐसी कई जगह हैं जहां ऐसे अवैध प्रवासी रह रहे हैं. जहांगीरपुरी की घटना दर्शाती है कि घुसपैठ का मुद्दा एक गंभीर मुद्दा है और पूरे देश को इस पर गंभीरता से विचार करना चाहिए. सरमा विज्ञान भवन में मुख्यमंत्रियों और उच्च न्यायालयों के मुख्य न्यायाधीशों के संयुक्त सम्मेलन में भाग लेने के लिए दिल्ली आए थे.

असम सरकार राज्य की मूल मुस्लिम आबादी को पहचान पत्र जारी करेगी :सीएम सरमा ने कहा कि असम सरकार राज्य की मूल मुस्लिम आबादी को पहचान पत्र जारी करेगी. उन्होंने कहा कि हमने एक उप-समिति बनाई थी जिसने अपनी रिपोर्ट सौंप दी है. हमारी कैबिनेट रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद आगे की कार्रवाई करेगी. उन्होंने कहा कि यह राज्यों की मूल मुस्लिम आबादी की संस्कृति और पहचान की रक्षा के लिए शुरू किया गया था क्योंकि अवैध प्रवासियों ने उनके लिए एक गंभीर खतरा पैदा कर दिया है. सरमा ने बताया कि केंद्र सरकार राज्य के बुनियादी ढांचे के विकास के लिए पूंजीगत परियोजनाओं के तहत 2,600 रुपये की अतिरिक्त राशि जारी करेगी. सीएम सरमा ने कहा कि मैंने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीताराम से भी मुलाकात की.

उन्होंने कहा कि इस वर्ष राज्य सरकार ने 8 मेडिकल कॉलेजों, डीसी कार्यालयों, स्टेडियम सड़कों आदि के निर्माण जैसी कई पूंजीगत परियोजनाओं की योजना बनाई है और इसलिए हमें इन खर्चों को पूरा करने के लिए अतिरिक्त धन की आवश्यकता होगी. उन्होंने कहा कि इस साल असम को अतिरिक्त 2,600 करोड़ रुपये मिलेंगे और केंद्रीय मंत्री ने कहा कि अगर असम बेहतर प्रदर्शन करता है तो केंद्र साल के अंत में और अधिक धन मुहैया करा सकता है.

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विधायक जिग्नेश मेवानी मामले का जिक्र करते हुए सरमा ने कहा कि वह मेवानी के खिलाफ एक महिला पुलिस अधिकारी द्वारा दर्ज की गई प्राथमिकी के विवरण से अनजान हैं. हालांकि, आज मुझे उस महिला पुलिस अधिकारी से एक फाइल मिली जिसमें बारपेटा जिला अदालत के आदेश के खिलाफ उच्च न्यायालय जाने की अनुमति मांगी गई थी. यह फाइल मिलने के बाद ही मुझे इस मामले की जानकारी हुई. तब तक मैं इससे पूरी तरह अनजान था.

उन्होंने कहा कि मैं यह स्पष्ट करना चाहता हूं कि विधायक के खिलाफ यह मामला राज्य सरकार ने नहीं बल्कि एक महिला पुलिस अधिकारी ने दर्ज कराया है. महिला पुलिस अधिकारी न्याय की मांग कर रही है और मैं चाहता हूं कि उच्च न्यायालय इस मामले को बारीकी से देखे. विपक्षी दलों की आलोचना करते हुए सरमा ने कहा, मैं यह नहीं समझ पा रहा हूं कि राजनीतिक दल इस मामले में असम पुलिस को क्यों घसीट रहे हैं. महिला अधिकारी ने यह मामला अपनी हैसियत से दर्ज कराया है. क्या पुलिस को महिला का केस दर्ज नहीं करना चाहिए? क्या एक महिला के मामले की पुलिस द्वारा जांच नहीं होनी चाहिए? केवल जब इस मामले में सक्षम अदालत से अंतिम शब्द आता है, तब ही राजनीतिक दलों को अपनी राय देनी चाहिए.

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Last Updated : Apr 30, 2022, 10:57 PM IST

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