सूरत : गुजरात के सूरत शहर की एक अदालत ने दो निजी चिकित्सकों को इस शर्त पर जमानत दी है कि वे सूरत सिविल अस्पताल में 15 दिन तक कोविड-19 रोगियों की देखभाल करेंगे. दोनों चिकित्सकों को कथित तौर पर रेमडेसिविर की कालाबाजारी करते पकड़ा गया था.
अतिरिक्त मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी आरए अग्रवाल ने गुरुवार को यह आदेश पारित किया. अदालत ने डॉ. साहिल घोघारी और डॉ. हितेश डाभी से कहा कि शुक्रवार से 15 दिन के लिए सिविल अस्पताल में कोरोना वायरस रोगियों की सेवा करें. दोनों चिकित्सक सूरत के निवासी हैं और निजी तौर पर मेडिकल प्रैक्टिस करते हैं.
उन्हें जमानत देते हुए मजिस्ट्रेट ने कहा कि महामारी के कारण चिकित्सकों की कमी है और यह समाज के हित में है कि दोनों चिकित्सकों को कोविड-19 से पीड़ित लोगों का उपचार करने के लिए सिविल अस्पताल में तैनात किया जाए.