नई दिल्ली : छह सितंबर (भाषा) ब्रिटेन में खालिस्तानी समर्थक तत्वों की गतिविधियों को लेकर भारत की चिंताएं दूर करने का प्रयास करते हुए ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक (British Prime Minister Rishi Sunak) ने बुधवार को कहा कि किसी भी तरह का उग्रवाद स्वीकार्य नहीं हैं और वैध विरोध के अधिकार को हिंसक या धमकी भरे व्यवहार तक नहीं ले जाया जा सकता. सुनक ने पीटीआई-भाषा को दिए विशेष साक्षात्कार में कहा कि वह हिंसक, विभाजनकारी विचारधाराओं, वे चाहे जिस तरह की हों, उन पर काबू पाने और उनका मुकाबला करने के सरकार के कर्तव्य को काफी गंभीरता से लेते हैं.
उन्होंने कहा कि ब्रिटेन खालिस्तान समर्थक उग्रवाद के खतरे से निपटने के लिए भारत सरकार में अपने साझेदारों के साथ मिलकर काम कर रहा है. ब्रिटेन में खालिस्तानी समर्थक तत्वों की गतिविधियों को लेकर, खासतौर पर मार्च में लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग पर हमले के बाद भारत में चिंताएं बढ़ गयी हैं. सुनक के ये बयान जी20 सम्मेलन में शामिल होने के लिए उनकी भारत यात्रा से कुछ दिन पहले आए हैं. उन्होंने कहा, 'ब्रिटेन में किसी तरह का उग्रवाद स्वीकार्य नहीं हैं और मैं हिंसक, विभाजनकारी विचारधाराओं, चाहे वे कैसी भी हों, उन पर काबू पाने और उनसे मुकाबला करने के सरकार के कर्तव्य को बहुत गंभीरता से लेता हूं.'
सुनक ने कहा, 'हम खालिस्तान समर्थक उग्रवाद के खतरे से निपटने के लिए भारत सरकार में हमारे साझेदारों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं और ब्रिटेन की पुलिस हिंसक गतिविधियों से निपटने में पूरी तरह सक्षम है.' दिल्ली में इस तरह की राय है कि खालिस्तान का मुद्दा भारत और ब्रिटेन के गहन संबंधों में अवरोध पैदा कर रहा है. सुनक ने पिछले महीने हुई ब्रिटेन के सुरक्षा मंत्री टॉम टुगेंडहाट और विदेश मंत्री एस जयशंकर की बैठक का भी उल्लेख किया जिसमें उग्रवाद और भ्रष्टाचार के खतरे से निपटने पर ध्यान केंद्रित किया गया.