मुंबई: बॉम्बे हाई कोर्ट (Bombay High Court) ने रेप के एक आरोपी को 20 महीने बाद जमानत (Bombay High Court granted bail to the accused) दे दी है. इस मामले में हाई कोर्ट को पीड़िता ने बताया कि उसने अपनी शादी बचाने के लिए आरोपी पर दुष्कर्म का आरोप लगाया था, क्योंकि उसके पति को पता चल गया था कि विवाह के बाद भी उसके आरोपी से अवैध संबंधा हैं. इस बयान पर अदालत ने आरोपी को जमानत पर रिहा कर दिया. विवाहित पीड़िता ने 27 जनवरी 2021 को कांदिवली थाने में शिकायत दर्ज कराई थी. उसके बाद पुलिस ने आरोपी अजीत दास के खिलाफ दुष्कर्म का मामला दर्ज किया था.
पीड़िता ने उस समय शिकायत की थी कि घटना 20 जनवरी की देर शाम की है, जब वह आरोपी की बाइक से अपने पति की दुकान से घर लौट रही थी. पीड़िता ने दावा किया था कि घर के रास्ते में, आरोपी ने वाहन को सड़क से उतार दिया और एक सुनसान जगह पर रुक गया, जहां उसने पीड़िता के साथ जबरदस्ती की. घर पहुंचने पर जब उसके पति ने देर से आने के बारे में पूछा तो उसने बताया कि आरोपी अजीत दास को इसलिए देर हो गई, क्योंकि वह अपनी बाइक में पेट्रोल भराना चाहता था.
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शिकायत के अनुसार एक हफ्ते बाद पीड़िता ने अपने पति को पूरे मामले की जानकारी दी और कहा कि अजित दास ने उसका यौन शोषण किया था. पुलिस में शिकायत दर्ज कराने के बाद 28 जनवरी को आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया. अब पीड़िता ने अपनी शिकायत में खुलासा किया कि 20 जनवरी को रात करीब 11.30 बजे उसके पति ने काम खत्म करने के बाद रसोई के बर्तनों को टेम्पो भर दिया और उसे आरोपी के साथ बाइक पर घर जाने को कहा, क्योंकि टेम्पो में बैठने के लिए जगह नहीं थी. पीड़िता ने स्वीकार किया कि उसके घर पहुंचने से पहले आरोपी और उसने कुछ समय अकेले बिताया और पति के पूछने पर देरी का कारण बाइक में पेट्रोल भराना बताया.
उसकी याचिका में आगे कहा गया है कि कुछ दिनों बाद उसके पति को उसके संबंध के बारे में पता चलने लगा था और वह आरोपी के साथ उसके संबंधों के बारे में पूछताछ करने लगा. इससे वह डर गई और अपनी शादी को बचाने के एकमात्र उद्देश्य से, उसने अपने पति से झूठ बोला कि उसका आरोपी के साथ कोई अवैध संबंध नहीं है और वह 20 फरवरी 2021 को देर से घर पहुंची क्योंकि आरोपी ने उसके साथ दुष्कर्म किया था. हाई कोर्ट ने आवेदन के अवलोकन से पता लगाया कि महिला ने अपनी शादी बचाने के लिए आरोपी पर झूठा आरोप लगाया था.