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Assembly Election 2023: छत्तीसगढ़ की सियासत का रुख तय करेगी बिरनपुर की घटना

बेमेतरा के बिरनपुर गांव में हुई सांप्रदायिक हिंसा ने छत्तीसगढ़ की सियासत में उबाल ला दिया है. विपक्षी पार्टियों के तेवर ने सत्ता में बैठे लोगों को बेचैन कर दिया है. इस घटना के बहाने छत्तीसगढ़ में एक बार फिर ध्रुवीकरण को हवा दी जा रही है, जो निश्चित तौर पर आने वाले चुनाव में सियसत का रुख तय करेगी. हालांकि इन सबके बीच पीड़ित परिवार के लिए अब तक किसी ने भी, मुआवजे को लेकर कोई घोषणा नहीं की है.Assembly Election 2023

Biranpur incident
बिरनपुर की घटना का छत्तीसगढ़ की राजनीति में असर

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Published : Apr 10, 2023, 11:38 PM IST

वीएचपी का छत्तीसगढ़ बंद

रायपुर: बेमेतरा के बिरनपुर गांव में हुई युवक की हत्या के विरोध में विश्व हिंदू परिषद ने सोमवार को छत्तीसगढ़ बंद का आह्वान किया. इस बंद को भारतीय जनता पार्टी, बजरंग दल समेत कई अन्य हिंदू संगठनों ने समर्थन दिया. एक ओर जहां भुनेश्वर साहू की हत्या के विरोध में लोगों में आक्रोश है. तो वहीं चुनाव के मद्देनजर इस बंद के कई राजनीतिक मायने भी निकाले जा रहे हैं. हत्यारों को कड़ी से कड़ी सजा देने की मांग तो हो रही है. लेकिन, अब तक न तो सरकार ने और न ही किसी संगठन या पार्टी ने पीड़ित परिवार के लिए मुआवजे की घोषणा की है. इन सबके बीच साहू समाज के लोगों ने गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू से मुलाकात कर पीड़ित परिवार को 1 करोड़ रुपए मुआवजा राशि देने की मांग की है. एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की मांग की है.


आंदोलन के बाद पीड़ित परिवार से मिलेंगे विहिप नेता:विश्व हिंदू परिषद के प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर वर्मा ने कहा कि "पीड़ित परिवार को मदद पहुंचाने की दृष्टि से हमने विचार किया है. इस आंदोलन के बाद हम पीड़ित परिवार से मुलाकात कर उन्हें जो योग्य मदद करनी चाहिए वह विश्व हिंदू परिषद और हिंदू समाज करेगा. विहिप के प्रदेश पदाधिकारी जब पीड़ित परिवार के घर जाएंगे, तब सामज की ओर से परितोष पीड़ित परिवार को भेंट किया जाएगा."

आर्थिक और मानसिक रूप से समाज के लोग करेंगे मदद:भारतीय जनता पार्टी के प्रवक्ता संजय श्रीवास्तव ने कहा कि "लगातार सरकार के संरक्षण में जिस तरह की घटनाएं हो रही है, इस बात को बताती हैं कि सरकार सही दिशा में नहीं चल रही है." परिवार को मुआवजा देने की बात पर संजय श्रीवास्तव ने कहा कि "पीड़ित परिवार के साथ सबसे पहले सहानुभूति रहती है. शर्म की बात है कि, सरकार उनके साथ खड़ी नहीं हो रही है. हमारे सभी लोग पीड़ित परिवार के पास जा रहे हैं. पहले जिले के कार्यकर्ता गए. आज प्रदेश अध्यक्ष पीड़ित परिवार से मिलने के लिए उनके गांव गए हैं. आर्थिक रूप से, मानसिक रूप से और मनोबल बढ़ाने के लिए भी समाज के सभी लोग मदद करेंगे."

सरकारी प्रावधान के मुताबिक दिया जाएगा मुआवजा:कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि "बिरनपुर की घटना को लेकर सरकार पूरी तरह से गंभीर है. स्थिति अभी नियंत्रण में है. सरकार का जो भी मुआवजे का प्रावधान है, वह पीड़ित परिवार को दिया जाएगा. सरकार और कांग्रेस पार्टी पूरी तरह से पीड़ित परिवार के साथ है. जो अपराधी थे, उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है. लेकिन इस पूरे मामले पर भारतीय जनता पार्टी की गिद्ध प्रवृत्ति की राजनीति का पर्दाफाश हो गया है. यह जो घटना हुई है बहुत ही दुखद है. लेकिन भाजपा ने पूरे प्रदेश में हिंसा की है, जिसे प्रदेश की जनता ने देख लिया है."

कांग्रेस ने भाजपा पर लगाया हिंसा फैलाने का आरोप:धनंजय सिंह ठाकुर ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि "जिस राज्य में भाजपा की सरकार नहीं होती, उस राज्य में उन्माद और हिंसा फैलाकर वह राजनीति करना चाहती है. पश्चिम बंगाल के चुनाव के दौरान भी भाजपा ने यही चरित्र अपनाने का काम किया था. आज जिन प्रदेश में भाजपा की सरकार नहीं है. वहां इस तरह का काम कर रही है. छत्तीसगढ़ शांत धरा है. लेकिन भाजपा और उनके अनुषांगिक संगठन छत्तीसगढ़ को अशांत कर रहे हैं. कवर्धा की घटना में भी भाजपा नेताओं की भूमिका उजागर हुई थी. नारायणपुर में भी जिस तरह से पुलिस पर हमला हुआ उसमें भाजपा के नेताओं की भूमिका नजर आ रही है. बेमेतरा के बिरनपुर में भी घटना के दो दिन पहले बजरंग दल और भाजपा के लोग जाते हैं और, एक सभा करते है. उसके बाद यह घटना हो जाती है. इससे स्पष्ट समझ आता है कि, भाजपा छत्तीसगढ़ के शांति के खिलाफ काम कर रही है. भारतीय जनता पार्टी का हिडन एजेंडा ही है हिंसा करना."

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बैकफुट पर नजर आ रही है कांग्रेस:वरिष्ठ पत्रकार और राजनीतिक विश्लेषक शशांक शर्मा के मुताबिक "इस तरह की घटना होना दुर्भाग्यपूर्ण है. लेकिन राजनीतिक दृष्टि से देखें तो इसका फायदा भाजपा को होगा. वहीं यह कांग्रेस की कमजोरी भी है कि, जहां धर्म का मामला आएगा वहां भाजपा मुखर रहेगी. छत्तीसगढ़ में इस तरह की घटनाएं नहीं होती थी. लेकिन अचानक इस तरह की घटनाएं क्यों हो रही, क्या यह सुनियोजित है या सरकार की असफलता है. कांग्रेस बैकफुट पर ही नजर आ रही है. इससे बहुसंख्यक समाज में नारजगी भी है. इस तरह की घटना में भाजपा मुखर होकर विरोध प्रदर्शन करने उतर आती है. जिसका फायदा उन्हें चुनाव के दौरान मिलता है."

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