अहमदाबाद : भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के एक अधिकारी ने शनिवार को कहा कि अगले 12 घंटों में बहुत गंभीर चक्रवात ‘बिपरजॉय’ के अति गंभीर चक्रवाती तूफान में बदलने की आशंका है, लेकिन इसके गुजरात तट से टकराने का अनुमान नहीं है. चक्रवात के पोरबंदर तट से 200-300 किलोमीटर की दूरी से गुजरने का अनुमान है, लेकिन अगले पांच दिनों के दौरान गुजरात में आंधी और तेज हवाएं चलने की संभावना है. मौसम विभाग ने 11 से 15 जून के बीच राज्य में बारिश का पूरा अनुमान जताया है. चक्रवात से निपटने के लिए एक विशेष नियंत्रण कक्ष स्थापित किया जाएगा. बंदरगाह प्रशासन विशेष रूप से चक्रवात को देखते हुए चौबीस घंटे की रिपोर्ट तैयार करेगा.
अपने नवीनतम पूर्वानुमान में, आईएमडी ने कहा कि बहुत गंभीर चक्रवाती तूफान 'बिपरजॉय' के अगले 12 घंटों के दौरान एक अत्यंत गंभीर चक्रवाती तूफान में बदलने की आशंका है. उन्होंने कहा कि अगले तीन दिन के दौरान उत्तर-उत्तरपश्चिम की ओर बढ़ने से पहले इसके धीरे-धीरे उत्तर-उत्तरपूर्व की ओर बढ़ने का अनुमान है. अहमदाबाद (भारत मौसम विज्ञान विभाग) केंद्र की निदेशक मनोरमा मोहंती ने कहा, 'चक्रवाती तूफान वर्तमान में पोरबंदर से 600 किमी दूर है. जैसे-जैसे यह आगे बढ़ेगा, बंदरगाह संकेत चेतावनी इसके अनुसार बदल जाएगी. इस समय चक्रवात के पोरबंदर से 200-300 किमी और नलिया (कच्छ) से 200 किमी की दूरी से गुजरने का अनुमान है. जहां तक मौजूदा पूर्वानुमान का संबंध है, इसके गुजरात तट से टकराने की आशंका नहीं है.'
उन्होंने पत्रकारों से कहा कि मछुआरों को अगले पांच दिन के दौरान अरब सागर में न जाने की चेतावनी दी गई है और मछली पकड़ने की सभी गतिविधियों को स्थगित कर दिया गया है. मोहंती ने कहा, 'चक्रवात उत्तर दिशा की ओर बढ़ रहा है. अगले 24 घंटों में इसकी गति बदलकर उत्तर पूर्व की ओर होने का अनुमान है. इसके बाद, चक्रवात की गति उत्तर-उत्तरपश्चिम की ओर होगी.' उन्होंने कहा कि गुजरात में अगले पांच दिन में गरज के साथ छींटे पड़ने का अनुमान है, खासकर सौराष्ट्र-कच्छ क्षेत्र में हवा की गति तेज रहेगी.
मोहंती ने कहा, 'अगले दो दिनों के दौरान, सौराष्ट्र-कच्छ क्षेत्र में 30-40 किमी प्रति घंटे की हवा की गति देखी जा सकती है. इसके बाद, इस क्षेत्र में 30-50 किमी प्रति घंटे से 50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चलने का अनुमान है.' अधिकारियों ने राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के दलों को पोरबंदर, गिर सोमनाथ और वलसाड जिलों में भेज दिया है. भारतीय तटरक्षक बल ने गुजरात, दमन और दीव के मछुआरा समुदाय और नाविकों को जरूरी सावधानी बरतने और सुरक्षा उपाय करने की सलाह दी है.
गुजरात के सभी बंदरगाहों पर अलर्ट, मछुआरों को चेतावनी
मछुआरों को समुद्र में न जाने की सलाह:तूफान के मद्देनजर वलसाड में विभिन्न टीमों का गठन किया गया है. साथ ही लोगों को किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तट क्षेत्र के गांवों में ही रहने की सलाह दी गई है. साथ ही मछुआरों को सलाह दी गई है कि वे 15 जून तक समुद्र न जाए.
सभी बंदरगाहों पर अलर्ट: बिपरजॉय के खतरे को देखते हुए गुजरात राज्य के सभी बंदरगाहों पर अलर्ट कर दिया गया है. सभी समुद्र तटों को खाली करा लिया गया है. तटीय इलाकों में सुबह से ही बादल छाए हुए हैं. यह भी अनुमान लगाया जा रहा है कि तटीय इलाकों में भारी बारिश हो सकती है. कई सिग्नल भी सेट करने का आदेश दिया है। समुद्र में एक तरह का दबाव बन रहा है.
दिशा परिवर्तन: बिपरजॉय रातों-रात समुद्र में अपनी दिशा बदल ली है और उत्तर-पश्चिम की बजाय उत्तर-पूर्वी तट को फैला जा रहा है, जिससे जोखिम बढ़ रहा है. इस वजह से गुजरात मौसम विभाग अलर्ट मोड पर सक्रिय हो गया है. सौराष्ट्र-कच्छ और आसपास के जिलों में 80 से 100 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चल सकती है.
द्वारका के 21 द्वीपों पर आवाजाही पर रोक: सरकार ने द्वारका जिले की समुद्री सीमा में 21 द्वीपों पर लोगों की आवाजाही पर रोक लगा दी है. गौरतलब है कि द्वारका जिले के कुल 24 द्वीपों में से, जो 3 तरफ से समुद्र तट से जुड़ा है, केवल 2 द्वीपों में मानव बस्तियां हैं.
अमरेली में कोस्टगार्ड की टीमें एक्शन मोड में: अमरेली- कोस्टगार्ड की टीमें चक्रवात के अंतर्देशीय होने के कारण एक्शन मोड में हैं. तटरक्षक द्वारा पोरबंदर से जाफराबाद समुद्री सीमा तक हवाई निगरानी शुरू कर दी गई है. मछुआरों को समुद्र में जाने से रोकने के लिए विमानों के जरिए निजी गश्त शुरू की गई. सूरत के दोनों तटों पर तेज लहरों के साथ ऊंची लहरें देखी जा रही हैं. जिला कलेक्टर ने सूरत जिले के अधिकारियों व कर्मचारियों को मुख्यालय नहीं छोड़ने का आदेश दिया है. दूसरी ओर, सूरत पुलिस आयुक्त ने एक बयान जारी कर कहा है कि सुवाली और डुमास समुद्र तट क्षेत्रों में लोगों और मछुआरों या समुद्री किसानों की आवाजाही पर तीन दिनों के लिए प्रतिबंध लगा दिया गया है.
कंडला बंदरगाह पर दो नंबर सिग्नल नंबर : कच्छ के ऊपर चक्रवात बिपरजॉय के मंडराते खतरे के बीच बंदरगाह पर अलर्ट जारी है. अगर तूफाव आता है इस बंदर पर पे हिट करने की संभावना है.इसके प्रभाव के कारण खासकर तटीय इलाकों में तेज रफ्तार हवाओं के साथ बारिश होने का अनुमान है.सौराष्ट्र में चक्रवात को लेकर पीजीवीसीएल की ओर से भी तैयारी कर ली गई है। जिसमें तूफान में नुकसान होने की स्थिति में पीजीवीसीएल की टीम ने अपनी दूरदर्शिता के तहत विभिन्न टीमों को स्टैंड बाई पर रखा है. साथ ही मैन पावर और सामग्री की अग्रिम व्यवस्था की गई है।
गिरनार में रोप-वे सेवा निलंबित:जूनागढ़ शहर में अचानक मौसम से गिरनार पर्वत सहित पूरे शहर में तेज हवाएं चल रही हैं जिसके कारण गिरनार रोपवे के प्रबंधन ने सभी प्रकार के पर्यटकों के लिए रोपवे सुविधा को बंद करने का निर्णय लिया है. गिरनार पर्वत के आसपास का वातावरण रोपवे के संचालन के लिए उपयुक्त होगा और हवा की गति नियंत्रित होगी. सभी तरह के वेरिफिकेशन के बाद एक बार फिर पर्यटकों के लिए रोपवे सेवा शुरू की जाएगी.
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