पटना: बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव (Deputy CM Tejashwi Yadav) आज यानी बुधवार को 33 साल के हो गए हैं, उनका क्रिकेटर से परिपक्व राजनेता बनने तक का सफर रोलर कोस्टर की सवारी जैसा है. वह भारत के सबसे कम उम्र के उपमुख्यमंत्री रहे चुके हैं, जब 2015 में 26 साल की उम्र में यह पद प्राप्त किया. सात साल बाद एक बार फिर वो बिहार के उपमुख्यमंत्री बने हैं. हालांकि, 2017 में उन्होंने बिहार विधानसभा में विपक्ष के नेता की भूमिका निभाई. 2015 में लालू प्रसाद ने एक बार कहा था कि तेजस्वी यादव सबसे योग्य सीएम चेहरा हैं. आज उनके जन्मदिन पर ईटीवी भारत (Tejashwi Yadav Interview) ने उनसे खास बातचीत की. इस दौरान तेजस्वी ने खुलकर सभी सवालों का बेबाकी से जवाब दिया.
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लालू यादव से हमारी कोई तुलना नहीं हो सकतीःतेजस्वी ने अपने जन्मदिन पर बातचीत के दौरान कहा कि पार्टी के सभी कार्यक्रताओं , नेताओं और बिहार के लोगों से काफी प्यार मिला. समय-समय पर सभी का सहयोग भी मिलता रहा है. बिना सहयोग के कम उम्र में बड़ी जिम्मेदारी निभाना संभव नहीं है. लालू यादव से एक कदम आगे बढ़कर पार्टी के लिए काम करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि उनकी तुलना हमसे नहीं की जा सकती. बल्कि लालू यादव की तुलना किसी से नहीं की जा सकती. उन्होंने बिहार और बिहार के लोगों के लिए जो काम किया है, वो कोई नहीं कर सकता है. एक मास लीडर के रूप में उनकी कोई तुलना नहीं है. उनके काम को देखने के लिए तो देश के बाहर से लोग आते थे. हम भी प्रयास कर रहे हैं और हमारी ख्वाहिश है कि बिहार एक उन्नत राज्य बने. उसके लिए अभी बहुत कुछ करना है, अभी तो शुरूआत है.
"अभी बिहार के लिए कुछ किया ही कहां है, अभी बहुत कुछ करना बाकी है, बिहार को विकसित राज्य बनाना है. अभी तो शुरुआत है, हमलोग तो हमेशा नेशनल लेवल के मुद्दे उठाते रहे हैं. चाहे किसान से जुड़ा मुद्दा हो, गरीबी हो, बेरोजगारी हो, मंहगाई हो. हम लोग राष्ट्रीय स्तर पर जनता की आवाज उठाते रहे हैं"-तेजस्वी यादव, डिप्टी सीएम
बिहार के सफल राजनेताः राजनीति में प्रवेश करने के बाद कई लोगों ने तेजस्वी के राजनितिक भविष्य पर सवाल उठाये थे, लेकिन आज वह बिहार के सबसे सफल राजनेता हैं, जो राजद में सभी बड़े फैसले लेते हैं और बिहार की सबसे बड़ी पार्टी का नेतृत्व करते हैं. दिलचस्प बात यह है कि तेजस्वी की स्कूली शिक्षा नौवीं कक्षा के बाद समाप्त हो गई क्योंकि उन्होंने 2008 से 2012 तक दिल्ली डेयरडेविल्स आईपीएल टीम के सदस्य होने के नाते खुद को क्रिकेट पर केंद्रित कर रखा था. वह अंडर 15 राष्ट्रीय चैंपियनशिप के सदस्य के रूप में दिल्ली के लिए खेलते थे. हालांकि, उनके जीवन ने 2015 में यूटर्न लिया, जब वे वैशाली जिले की राघोपुर सीट जीतने के बाद 26 साल की उम्र में डिप्टी सीएम बनने के बाद बिहार विधान सभा के सदस्य बने.
नीतीश ने कहा बिहार का भविष्यः अपने पिता पद्चिन्ह पर चलने के उद्देश्य से तेजस्वी का राजनीतिक भविष्य लंबा है. खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी उन्हें एक बार बिहार का भविष्य कहा था. लालू पहले ही तेजस्वी को अपना उत्तराधिकारी बना चुके हैं. तेजस्वी अपने बड़े भाई तेज प्रताप यादव की तुलना में अधिक परिपक्व नेता माने जाते थे और इसलिए लालू ने तेजस्वी को अपना उत्तराधिकारी चुना. तेजस्वी यादव की राजनीति में आने के बाद कई तरह के बदलाव पार्टी में भी दिखाई दिए है. राजद जिसे कभी अनुशासनहीन पार्टी माना जाता था, आज पार्टी कार्यकर्ता अनुशासन में रहने के लिए बाध्य हैं और इसका श्रेय तेजस्वी को जाता है, जिन्होंने पार्टी में ऊपर से नीचे तक बदलाव सुनिश्चित किया.