नई दिल्ली :उच्चतम न्यायालय ने गजेन्द्र शर्मा द्वारा दायर एक याचिका का निपटारा किया, जो अदालत में लोन अधिस्थगन अवधि के दौरान ब्याज पर ब्याज से राहत की मांग करने के लिए दायर की गई थी. याचिका में कहा गया था कि लॉकडाउन के चलते आजीविका कमाने का कोई रास्ता नहीं था. उन्होंने आईसीआईसीआई बैंक से 37,48,000 रुपये का होम लोन लिया था.
गजेन्द्र शर्मा ने सरकार द्वारा उठाए गए कदमों और समस्या का समाधान मिलने पर संतोष व्यक्त किया, जिसके बाद न्यायमूर्ति अशोक भूषण, न्यायमूर्ति आर सुभाष रेड्डी और न्यायमूर्ति एमआर शाह की पीठ ने याचिका का निपटारा किया.
सरकार ने दो करोड़ रुपये तक के छोटे ऋणों पर ब्याज पर ब्याज से राहत प्रदान की थी, जिससे शर्मा को लाभ हुआ. कोर्ट ने माना कि सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि उसके फैसले को लागू करने के लिए सभी कदम उठाए जाएं, ताकि लोगों को लाभ हो.
सरकार के विस्तृत हलफनामों से पता चलता है कि सरकार लॉकडाउन के कारण लोगों और विभिन्न क्षेत्रों के सामने आने वाली कठिनाई के प्रति सचेत है और इसके लिए कदम उठा रही है.