नई दिल्ली : शिवसेना ने शुक्रवार को दावा किया कि दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर तीन कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन सिर्फ पंजाब, हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसानों का नहीं, बल्कि पूरे देश का आंदोलन है. इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार इस आंदोलन को बदनाम करने की साजिश रच रही है.
राष्ट्रपति के अभिभाषण पर राज्यसभा में पेश धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में हिस्सा लेते हुए शिवसेना नेता संजय राउत ने यह कहते हुए भी सरकार पर निशाना साधा कि उससे सवाल पूछने या उसकी आलोचना करने वालों पर आज देशद्रोह का मुकदमा दायर कर दिया जाता है. उन्होंने कहा कि मोदी जी को प्रचंड बहुमत मिला है और हम इसका सम्मान करते हैं. बहुमत देश चलाने के लिए होता है. बहुमत अहंकार से नहीं चलता.
उन्होंने कहा कि निंदा करने वालों को आप बदनाम कर देते हैं, जैसे किसान आंदोलन को बदनाम करने की साजिश चल रही है. यह देश की प्रतिष्ठा के लिए ठीक नहीं है, यह देश के किसानों के लिए और हम सब के लिए भी ठीक नहीं है. गणतंत्र दिवस पर लाल किले पर हुई हिंसा का उल्लेख करते हुए राउत ने कहा कि इस मामले का मुख्य आरोपी अभी तक पकड़ा नहीं गया है, जबकि 200 से अधिक किसानों को जेल में बंद कर देशद्रोह का मुकदमा दायर कर दिया गया है.
उन्होंने कहा कि लाल किले का अपमान करने वाला दीप सिद्धू कौन है? किसका आदमी है? इस बारे में क्यों नहीं बताया जाता? किसने उसे ताकत दी? अब तक वह पकड़ा नहीं गया, लेकिन 200 से ज्यादा किसान इस प्रकरण में बंद हैं और उनके खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा दायर कर दिया गया है. उन्होंने आरोप लगाया कि हक के लिए लड़ने वाले किसानों को इस सरकार ने देशद्रोही बना दिया है.