नई दिल्ली: जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में 5 साल से सिक्योरिटी गार्ड का काम करने वाले रामजल मीणा ने जेएनयू में बीए रशियन लैंग्वेज की प्रवेश परीक्षा पास कर ली है. अब वे इसी विद्यालय में अपनी पढ़ाई करेंगे.
सत्र 2019-20 के लिए आयोजित प्रवेश परीक्षा में रामजल मीणा ने बीए रशियन लैंग्वेज की पढ़ाई के लिए आवेदन किया था. जिसे उन्होंने सफलता पूर्वक पास कर लिया है. अब उनका अगला लक्ष्य सिविल सर्विसेज की परीक्षा पास करना है.
कौन हैं रामजल मीणा
राजस्थान के भजेड़ा गांव से ताल्लुक रखने वाले रामजल मीणा जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में बतौर सिक्योरिटी गार्ड काम करते हैं. उनका सपना तो कुछ और ही था पर आजीविका के कारण नौकरी तलाशनी पड़ी.
कहते हैं ना कि जो मंज़िलों को पाने की चाहत रखते हैं वो समंदरों पर भी पुल बना लिया करते हैं. रामजल के साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ.
सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करने के बावजूद पढ़ाई की लगन कुछ ऐसी थी कि दिन भर की ड्यूटी के बीच समय निकालकर वे पढ़ाई भी करते रहे. नतीजतन उन्होंने प्रवेश परीक्षा पास कर ली.
पारिवारिक दायित्वों के लिए करनी पड़ी नौकरी
अपनी इस सफलता के बारे में बताते हुए रामजल मीणा ने कहा कि उनका सपना था कि सिविल सर्विसेज की परीक्षा पास कर बड़े ओहदे पर बैठकर देश की सेवा करें. साथ ही अपने कस्बे का नाम भी रोशन करें लेकिन पारिवारिक दायित्वों के लिए उन्हें नौकरी करनी पड़ी.
'कभी नहीं छोड़ी पढ़ाई'
जिसके बाद इन्होंने सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी शुरू कर दी. इनके सपनों को हौसला तब मिला जब इनकी पोस्टिंग जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में हुई. उन्होंने कहा कि छात्रों को यहां दिन रात पढ़ते देखकर उनकी भी इच्छा हुई कि वे भी सिविल सर्विसेज की परीक्षा की तैयारी करें. उन्होंने बताया कि भले ही परिस्थिति वश उन्हें नौकरी करनी पड़ रही हो पर उन्होंने पढ़ाई कभी नहीं छोड़ी.
'छात्रों ने की मदद'
उन्होंने बताया कि वे बचपन से ही मेधावी छात्र रहे हैं, लेकिन पारिवारिक ज़िम्मेदारी और परिस्थितियों की वजह से सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करनी पड़ी. काम के दौरान ही छात्रावास में रहने वाले छात्रों से बातचीत के दौरान उन्हें इस एंट्रेंस एग्जाम के बारे में पता चला.