नई दिल्ली :एम्स ने एक घंटे के लिए इमरजेंसी डिपार्टमेंट में मरीजों को एडमिट करना बंद कर दिया था. हालांकि एम्स के मुताबिक अब इमरजेंसी सेवा सुचारू है. कोरोना मरीजों के लिए ऑक्सीजन की आवश्यकता बढ़ने के कारण इमरजेंसी डिपार्टमेंट में एडमिशन बंद कर दिया गया था. हालांकि एक घंटे तक आपातकालीन विभाग में मरीजों को एडमिट न किए जाने के बाद एम्स की ओर से कहा गया कि अब सेवा सुचारू रूप से चालू है. मरीजों को इमरजेंसी डिपार्टमेंट में भर्ती किया जा रहा है.
बीते 24 घंटे में 24,331 नए कोरोना मामले
वहीं, राजधानी में बीते 24 घंटे में 24,331 नए कोरोना मामले सामने आए, जबकि सक्रिय मरीजों की संख्या 92 हजार को पार कर गई. वहीं कोरोना से मौत का आंकड़ा साढ़े 300 के करीब पहुंच गया. दिल्ली में कोरोना के बढ़ते आंकड़ों के चलते स्वास्थ्य ढांचा बिगड़ते जा रहा है, अस्पतालों में संसाधनों की कमी साफ तौर पर देखी जा रही है, जहां एक तरफ लोग कोरोनावायरस से लड़ रहे हैं वहीं दूसरी तरफ बेडस्, दवाइयों और ऑक्सीजन के लिए लड़ाई जारी है, इसी बीच दिल्ली सरकार द्वारा जारी की गई 'दिल्ली कोरोना' Delhi corona ऐप के मुताबिक पूरी दिल्ली में केवल एक ही वेंटिलेटर बेड खाली है यानी कि दिल्ली के सरकारी और प्राइवेट सभी अस्पतालों में वेंटिलेटर बेड भर चुके हैं.
दो अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी
अलग-अलग अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी सामने आ रही है. पश्चिम विहार स्थित सहगल नियो हॉस्पिटल के डायरेक्टर ने हॉस्पिटल में ऑक्सीजन किल्लत की बात कहते हुए मदद की गुहार लगाई है. राजधानी में कोरोना से हालात लगातार बिगड़ते चले जा रहे हैं. वेस्ट दिल्ली के चानन देवी अस्पताल के बाद अब पश्चिम विहार स्थित सहगल नियो हॉस्पिटल में ऑक्सीजन की कमी बताई जा रही है.
हॉस्पिटल प्रशासन की तरफ से यह जानकारी दी गई है कि यहां लगभग 150 मरीज भर्ती हैं. इनमें से 130 मरीज कोविड-19 के हैं और लगभग आधे मरीजों को ऑक्सीजन की सख्त जरूरत है. अस्पताल के पास महज 2 घंटे का ऑक्सीजन ही बचा है. ऐसे में उन्होंने सरकार और प्रशासन से गुहार लगाई है कि अस्पताल को जल्द ऑक्सीजन मुहैया कराकर, इंसानों की जान की रक्षा की जाए.
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