नासिक :अयोध्या, ज्ञानवापी और काशी के बाद अब हनुमान जन्मभूमि (Hanuman Birth Place) को लेकर विवाद शुरू हो गया है. भगवान हनुमान का जन्म अंजनेरी में होने का दावा किया जाता रहा है. अंजनेरी पहाड़ महाराष्ट्र के नासिक के त्रयंबकेश्वर के पास स्थित है. इस दावे के विरोध में महंत गोविंदानंद (Mahant Govindanand) ने नासिक के पुरोहितों और शोधकर्ताओं को चुनौती दी है. गोविंदानंद ने इन पुरोहितों और रिसर्चर्स से नासिक के त्रयंबकेश्वर के पास अंजनेरी पर्वत (Anjaneri in Trayambakeshwar Nashik) में हनुमान जन्मभूमि होने का प्रमाण मांगा है. महंत गोविंदानंद ने कहा है कि वे हनुमान जन्मभूमि के सही स्थान की पहचान को लेकर किसी भी स्तर पर किसी भी तरह की बहस करने को तैयार हैं.
महंत गोविंदानंद का कहना है कि हनुमान जी का जन्म किष्किंधा में हुआ था. नासिक के अंजनेरी को हनुमान जन्मभूमि बता कर हिंदू श्रद्धालुओं के बीच भ्रम फैलाया जा रहा है. महंत गोविंदानंद अपनी इस चुनौती के साथ त्रयंबकेश्वर पहुंच गए हैं.
अंजनेरी या किष्किंधा? क्या कहते हैं प्रमाण? कहां जन्मे थे वीर हनुमान? -महाराष्ट्र के नासिक जिले के त्रयंबकेश्वर में अंजनेरी नाम का एक पर्वत है. कई श्रद्धालुओं का विश्वास है कि भगवान हनुमान का जन्म यहीं हुआ था. अंजनेरी में हनुमान जी का एक मंदिर भी है. यह दावा किया जाता रहा है कि अंजनी पुत्र कहे जाने वाले वीर हनुमान का जन्म नासिक के इसी अंजनेरी पहाड़ में हुआ है. लेकिन इस पर विवाद है. महंत गोविंदानंद समेत कई श्रद्धालुओं का मानना है कि अंजनी पुत्र हनुमान का जन्म अंजनेरी में नहीं, बल्कि किष्किंधा में हुआ था. अंजनेरी नासिक जिले के त्रयंबकेश्वर तालुका में है. इस तालुका में स्थित एक पहाड़ को अंजनेरी नाम दिया गया है. इस पहाड़ में भगवान हनुमान के साथ ही अंजनी माता का भी मंदिर है. मान्यता है कि नासिक के पंचवटी में सीता,राम और लक्ष्मण ने कुछ काल तक निवास किया था. इसी अंजनेरी पहाड़ में वीर हनुमान के जन्म होने का भी दावा किया जाता रहा है.