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सज गयीं सड़कें, घाट चकाचक... हमहूं अरघिया देबई हे छठी मइया

छठ महापर्व ढलते सूर्य की उपासना का इकलौता पर्व है. जो पूरे देश में मनाया जाता है. लेकिन बिहार के लिए ये पर्व काफी खास है. बिहार में इस पर्व का इतना महत्व है कि बिहार के बाहर बसे लोग भी छठ पूजा पर अपने घर पहुंचकर पूरे परिवार के साथ भगवान भास्कर को अर्घ्‍य देते हैं.

वनव
वववव

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Published : Nov 20, 2020, 9:49 AM IST

पटनाः लोक आस्था का चार दिवसीय महापर्व छठ का आज तीसरा दिन है. आज ही शाम के समय डूबते हुए सूर्य को अर्घ्‍य दिया जाएगा. छठ को लेकर बिहार के सभी जिलों की रोनक देखते ही बन रही है. बिहार में इस पावन पर्व के लिए क्या कुछ इंतजाम किए गए हैं, आज हम आपको बताएंगे.

बिहार के तमाम जिलों में छठ की धूम
पटना समेत बिहार के तमाम जिलों में छठ की तैयारियां अपने आखिरी दौर में हैं. सभी जगहों पर छठ व्रतियों के लिए अच्छे इंतजाम किए जा रहे हैं. हर कोई सब कुछ भूल कर बस छठ की तैयारी में लगा है. ताकि भागवान भास्कर को अर्घ्‍य देने में कोई कमी ना रह जाए. साफ-सफाई के लिए जाने जाने वाले इस महान पर्व में सड़कों और गलियों की खास सफाई की गई है. बिहार का तकरीबन सभी शहर रंगीन रोशनी से पट चुके हैं.

छठ के लिए की गई सजावट

भक्तों के उत्साह में कोई कमी नहीं
इस बार महा पर्व कोरोना संक्रमण के बीच मनाया जा रहा है. जिसकी वजह से लोगों को घर में रह कर ही छठ करने की हिदायत दी गई है. लेकिन जो लोग घर पर छठ नहीं कर सकते उनका ख्याल रखते हुए तमाम घाटों पर अर्घ्‍य देने की व्यवस्था की गई है. इस बार भी इसके भाव और भव्यता में कोई कमी नहीं है. न भक्तों के उत्साह में कमी है, न पर्व के दिव्य रंगों में कोई कमी है.

दउरा, सूप खरीदती महिलाएं

सजी हैं फलों और दउरे की दुकानें
गंगा के घाटों से लेकर बाज़ारों तक छठ की रोनक दिखाई दे रही है. बिहार के सभी जिलों में फल और दूसरे सामानों के बाजार सजे चुके हैं, पर्व के लिए पारंपरिक सामानों की दुकानें भी सजी हुई हैं. कहीं तरह तरह के फल हैं तो कहीं पर मौसम की सारी सब्जियां सजी हैं. छठ में इस्तेमाल किए जाने वाले दउरा और सूप की दुकानों पर भी भीड़ है. कपड़ों की खरीदारी भी लोग खूब कर रहे हैं.

छठ के लिए सजी फलों की दुकान

दूधिया बल्ब से सजाया गया घाट
छठ को लेकर राजधानी पटना के सभी घाटों पर प्रशासन ने लाइटिंग की अच्छी व्यवस्था की है. ताकि अंधेरे में श्रद्धालुओं को किसी तरह की परेशानी न हो और लोग आराम से घाट तक जा सकें. पटना के दिघा घाट, एनआईटी घाट, गंगा घाट, और कलेक्ट्री घाट पर रात में भी दिन जैसा नजारा दिख रहा है. वहीं, पूरा पटना रंगीन रोशनी में पट गया है.

अगर हम बात करें पटना की कलेक्ट्री घाट की तो वहां प्रवेश द्वार से ही सामाजिक संस्था द्वारा सजावट की गई है. जिला प्रशासन के द्वारा गंगा घाटों पर पूरी तरीके से दूधिया बल्ब से सजाया गया है.

दूधिया रोशनी में डूबा घाट

घाटों पर सुरक्षा के विशेष इंतजाम
राजधानी पटना में घाट पर आने वाले श्रद्धालुओं के लिए विशेष इंतजाम किए गए हैं. इसके लिए गंगा घाट पर बैरिकेडिंग की गई है. भीड़ को नियंत्रित करने के लिए अतिरिक्त बल तैनात है. पटना जिला प्रशासन ने छठ पूजा को लेकर छठ घाटों पर जाने वाले लोगों के लिए कड़े निर्देश जारी किये हैं. इस दौरान गाड़ियों से छठ घाट पर जाने की अनुमति नहीं है. श्रद्धालुओं को पैदल ही घाट तक जाना होगा.

घाटों पर तैनात एनडीआरएफ की टीम

एनडीआरएफ की टीम भी तैनात
पुलिस मुख्यालय ने सभी जिलों को सख्त निर्देश जारी कर दिया है. इसमें कहा गया है कि गृह विभाग की तरफ से छठ पूजा को मनाने से संबंधित जो आदेश जारी किये गये हैं, उनका सख्ती से पालन सभी जिलों को करने के लिए कहा गया है. इसी के साथ साथ पटना में गंगा के हर घाट पर एनडीआरएफ तैनात है. लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए पूरे बिहार में एनडीआरएफ के 400 से अधिक बचावकर्मी लगाए गए हैं.

छठ को लेकर तैनात पुलिस के जवान

इन घाटों पर नहीं जाने की अपील
पटना केबुद्ध घाट, अदालत घाट, मिश्री घाट, टी एन बनर्जी घाट ,जजेज घाट, वंशी घाट ,जहाज घाट, अंटा घाट, सिपाही घाट, बी एन कॉलेज घाट, बालू घाट, खाजेकला घाट ,पत्थर घाट ,अदरक घाट, रिकाबगंज घाट, पीर मदड़िया घाट, नंदगोला घाट, नूरुउद्दीन घाट,बुंदेल टोली घाट, दमराही घाट, केशवराय घाट, बांस घाट को खतरनाक घाटों की श्रेणी में रखा गया है. जहां जाने की सख्त मनाही है.

घाट से गंगाजल ले जाते लोग

सीमावर्ती जिलों में भी सुरक्षा के बंदोबस्त
सीमावर्ती जिलों में इस बार सुरक्षा के खासतौर से बंदोबस्त किये गये हैं. सीमावर्ती 128 थानों को खासतौर से अलर्ट कर दिया गया है. ऐसे राज्य के सभी 1064 थानों को पूरी तरह से चौकस रहने के साथ ही अपने-अपने क्षेत्रों में पेट्रोलिंग बढ़ाने के लिए कहा गया है. नदी घाटों पर लोगों का जमावड़ा नहीं हो, इसका खासतौर से ध्यान रखने के लिए कहा गया है. सुरक्षा व्यवस्था की देखरेख के लिए अतिरिक्त अधिकारियों की भी तैनाती की गयी है.

पटना का गांधी घाट

शनिवार को उगते सूर्य को दिया जाएगा अर्घ्‍य
बता दें कि लोक आस्था का चार दिवसीय महापर्व छठ के तीसरे दिन शुक्रवार को भगवान भास्‍कर को सायंकालीन अर्घ्‍य दिया जाएगा. इसके पहले गुरुवार को व्रतियों ने छठी मैया को गुड़, अरवा चावल और दूध से बने खीर का भोग लगा कर खरना व्रत किया था. बुधवार को नहाय-खाय से महापर्व की शुरुआत हुई थी. शुक्रवार को सांध्‍यकालीन सूर्य और शनिवार को उगते सूर्य को अर्घ्‍य देने के साथ महापर्व का समापन होगा.

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