कटिहारः महान गणितज्ञ रामानुजन का जन्म 22 दिसंबर को हुआ था. इस वजह से इस तिथि को राष्ट्रीय गणित दिवस के रूप में मनाया जाता है. गणितज्ञ रामानुजन ने ऐसे फॉर्मूले तैयार किए है जिससे बड़े-बड़े सवाल मिनटों में हल हो जाते हैं. जिले के एक गणितज्ञ ने दावा किया है कि उनका इजात किया गया फार्मूला महान गणितज्ञ रामानुजन ने भी इस्तेमाल नहीं किया था. इनका नाम कटिहार जिले के मनिहारी अनुमंडल निवासी सदानंद पाल है.
पाई के मान के बिना प्रश्नों का हल
सदानंद पाल पन्ना लाल सुरेंदर बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय में नियोजित शिक्षक के तौर पर पढ़ाते हैं. सदानंद पाल पाई के मान (22/7) का उपयोग किए बिना प्रश्नों के हल करने का दावा कर रहे हैं. हालांकि कॉपीराइट का हवाला देते हुए उन्होंने फॉर्मूला बताने से मना कर दिया. इसके साथ ही उन्होंने बड़े से बड़े अंक अभाज्य संख्या है कि नहीं एक फार्मूले के तहत सेकंड में बताने का भी दावा किया.
"200 से 300 तक की अभाज्य संख्या पता चल जाती है, लेकिन 1000 और उससे आगे का फॉर्मूला गणितज्ञ रामानुजन भी नहीं निकाल पाए थे. लॉकडाउन के दौरान मैंने इसपर काम किया और इसे पहचानने के लिए 6 फार्मूले इजात किए. बड़े-बड़े गणितज्ञ भी इसका हल नहीं निकाल पाए हैं."- नियोजित शिक्षक, सदानंद पाल
नए अभाज्य संख्या का फॉर्मूला
सदानंद पाल के अनुसार जितने भी अभाज्य संख्या है. उसका गुणांक करेंगे, और उसके बाद इसमें एक (1) को जोड़ देंगे तो वह अभाज्य संख्या बन जाएगा. हालांकि इस फार्मूले के तहत इकाई अंक अगर शून्य, पांच या फिर सम संख्या है तो इसे नहीं लिया जाएगा.
क्या है अभाज्य संख्या
शिक्षक सदानंद पाल का मानना है कि बड़े गणितज्ञ ने इस तरह के फार्मूले इजात नहीं किया थे जिससे लोगों को सवाल हल करने में आसानी हो. बता दें कि अभाज्य संख्या ऐसी संख्या होती है जो एक और स्वयं से कटती है. छोटी संख्या को हम आसानी से पहचान सकते हैं कि वह अभाज्य है कि नहीं, लेकिन बड़ी संख्या में परेशानी होती है. इसका समाधान सदानंद पाल ने अपने छह फार्मूले के तहत पहचानने का दावा किया है.