भोपाल. मौसम विभाग ने मध्यप्रदेश के साथ-साथ महाराष्ट्र के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है. आईएमडी के मुताबिक रविवार से लेकर 27 जून तक मध्यप्रदेश में भारी बारिश की संभावना बन रही है. इसके बाद जुलाई के पहले हफ्ते से मूसलाधार बारिश देखने को मिलेगी. इस बार मध्यप्रदेश में 110 प्रतिशत तक बारिश हो सकती है, जिसकी मुख्य वजह 'ला नीना' को भी माना जा रहा है.
क्या है ला नीना और एमपी का कनेक्शन?
अल नीनो और ला नीना ऐसे मौसमी पैटर्न हैं जिनका असर दुनिया भर में होता है. ये दोनों ही पैटर्न बारिश, ठंड और गर्मी सब पर असर करते हैं. कम या अत्यधिक बारिश इन्हीं की वजह से होती है. अल नीनो जहां जहां मौसमी चक्र पर विपरीत प्रभाव डालता है, तो वहीं ला नीना मौसमी चक्र और समुद्र हवाओं को बल प्रदान करता है. इस बार देश में ला नीना के प्रभाव से अत्यधिक बारिश हो सकती है और मध्यप्रदेश पर इसका खासा असर होगा.
क्या है अल नीनो और ला नीना?
प्रशांत महासागर में समुद्री तट के अत्यधिक गर्म होने की घटना मौसम के अल-नीनो पैटर्न को दर्शाती है. समुद्र के तापमान के साथ और वायुमंडल में जो बदलाव आते हैं उस समुद्री घटना को अल नीनो कहा जाता है. इस बदलाव की वजह से समुद्र की सतह का तापमान सामान्य से 4-5 डिग्री सेल्सियस ज्यादा हो जाता है, जिसके असर से मौसम की सामान्य गतिविधियां और खासतौर पर बारिश के पैटर्न पर बुरा प्रभाव पड़ता है. इसी प्रकार भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर की सतह पर जब निम्न दबाव का क्षेत्र बनता है तो समुद्री सतह का तापमान तेजी से गिरता है और इसे ला नीना कहा जाता है. इससे बने विंड ट्रेंड से पश्चिमी मॉनसून को बल मिलता है.