मैनपाट में तीन महीने के बच्चे की मौत, परिजनों का आरोप टीके से गई जान, हेल्थ विभाग ने आरोप किया खारिज - Child dies after vaccination
मैनपाट में तीन महीने के बच्चे की मौत होने के बाद बवाल मच गया है. बुधवार सुबह साढ़े तीन बजे बच्चे की मौत हो गई. परिजनों ने आरोप लगाया है कि टीका लगने के बाद से बच्चे की तबीयत खराब हुई और उसकी मौत हो गई. जबकि सरगुजा सीएमएचओ ने कहा कि बच्चे के सांस नली एवं गले में दूध फंसा मिला है. जिससे उसकी मौत हुई है.
मैनपाट: सरगुजा के मैनपाट में एक तीन महीने के नवजात बच्चे की मौत के बाद हंगामा मच गया है. पूरी घटना मैनपाट के परपटिया गांव की है. यहां राम मझवार एवं फूलमती के तीन वर्षीय बच्चे को ढोढ़ीटिकरा के आंगनबाड़ी केंद्र में मंगलवार को टीका दिया गया. उसके बाद बुधवार सुबह साढ़े तीन बजे बच्ची की तबीयत बिगड़ी और उसकी मौत हो गई. बच्चे के परिजनों ने मौत की जानकारी आंगनबाड़ी केंद्र में दी और उसके बाद यह सूचना सरगुजा के सीएमएचओ को दी गई है.
बच्चे के शव का कराया गया पोस्टमार्टम: टीकाकरण से बच्चे की मौत के बाद हेल्थ विभाग की टीम हरकत में आई. सरगुजा के सीएमएचओ डॉक्टर प्रेम सिंह मार्को के निर्देश पर बच्चे के शव को कमलेश्वरपुर हेल्थ सेंटर लाया गया. यहां बच्चे के शव का पोस्टमार्टम कराया गया. पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद बच्चे का विसरा और ब्लड सैंपल प्रिजर्व किया गया है. जिसे जांच के लिए रायपुर भेजा जाएगा.
टीके के बाद बच्चे की मौत का आरोप (ETV BHARAT)
मैनपाट के ढोढ़ीटिकरा आंगनबाड़ी केंद्र में मंगलवार को सात बच्चों को पेंटावेलेंट वैक्सीन लगाया गया. हेल्थ विभाग ने अन्य बच्चों के परिजनों से भी संपर्क किया. अन्य बच्चों को सामान्य बुखार आया था, जिनकी हालत आज सामान्य बताई गई है. फूलमती के बच्चे की ही मौत हुई है: ढोढ़ीटिकरा आंगनबाड़ी केंद्र
पोस्टमार्टम के दौरान बच्चे के नाक एवं सांस की नली में दूध फंसा मिला है. ऐसी आशंका है कि बच्चे के रोने पर रात को उसकी मां ने दूध पिलाया. इस उम्र के बच्चों को दूध पीने के बाद उल्टी हो जाती है. आशंका है कि दूध सांस की नली में फंसने से उसकी मौत हुई है.बच्चे के शव का पोस्टमार्टम कराकर बिसरा प्रिजर्व किया गया है. बिसरा जांच में मौत के कारण और स्पष्ट हो जाएंगे: डॉ. प्रेम सिंह मार्को, सीएमएचओ, सरगुजा
इससे पहले बिलासपुर में इसी महीने के पहले सप्ताह में टीका लगने से बच्चों की मौत हुई थी. कुल दो बच्चों की मौत हुई थी. जिसके बाद स्वास्थ्य विभाग ने इस केस में जांच बिठाया था.