देहरादून: उत्तराखंड में बीते दिनों बारिश से हुए नुकसान को लेकर गृहमंत्री अमित शाह ने राज्य का दौरा किया था. ऐसे में उन्होंने कहा था कि भारत सरकार की चेतावनी के चलते इस आपदा में उत्तराखंड को कम जानमाल का नुकसान हुआ है. वहीं, अमित शाह के इस बयान को लेकर हरीश रावत ने एक ट्वीट किया है. जिसमें उन्होंने सरकार की नाकामियों को उजागर किया है.
अपने ट्वीट में हरीश रावत ने लिखा है कि आदरणीय अमित शाह, गृहमंत्री भारत सरकार ने कहा है कि उन्होंने उत्तराखंड सरकार को 36 घंटे पहले चेतावनी दे दी थी कि एक प्राकृतिकप्रलय जैसी स्थिति उत्तराखंड के ऊपर कहर ढहाने वाली है और हालात ये हैं कि ड्रेनेज सिस्टम, रुद्रपुर-हल्द्वानी से लेकर के सभी शहरों में फेल रहा, लोगों के घर डूब गए.
बारिश से दुकानें व सामान बर्बाद हो गया तो इसका अर्थ है कि राज्य सरकार ने ऐसी स्थिति से निपटने के लिए कोई व्यवस्था नहीं की थी. दो स्थानों पर बचाव दल इसलिए नहीं पहुंच सका, क्योंकि पुल टूट गये, गाड़ियां नहीं निकल सकती थी. आपदा प्रबंधन में रस्सी का पुल बनाने की व्यवस्था रहती है.
पढ़ें: पुलिसकर्मियों को CM धामी ने दिया दिवाली का तोहफा, ग्रेड-पे 4600 करने का ऐलान
हरीश रावत आगे लिखा है कि NDRF बहुत विलंब से पहुंच पाई और वो भी पूरी संख्या में नहीं पहुंची. आज के दिन भी दो-तीन शवों के मलबे में दबे होने की खबरें हैं, ट्रैकर्स लापता हैं, पिंडारी से लेकर दूसरे ट्रैकिंग रूट्स में लोग फंसे पड़े हैं और यह तथ्य है कि बारिश के रुकने के लगभग 48 घंटे बाद भी फंसे हुए ट्रैकर्स को रेस्क्यू नहीं किया जा सका है. मैं आपदा के वक्त में सहयोग देने में विश्वास करता हूं, लेकिन अमित शाह जी द्वारा जो सूचना दी गई है. उस सूचना के बाद मैं, जानकारियां प्रशासन तक पहुंचाना चाहता हूं, इसलिए यह ट्वीट कर रहा हूं.