चमोलीः जिले में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) में वित्तीय अनियमितता और अवैध वसूली का मामला सामने आया है. आरोप है कि आशा कार्यकत्रियों से फर्स्ट एड किट और रजिस्टर खरीद को लेकर वसूली की गई है. वहीं, सीएमओ ने कहा कि जांच में आरोपों की पुष्टि हुई है. दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
बता दें कि सरकार की ओर से ग्रामीण स्वच्छता समिति में हर साल ग्राम पंचायतों को दस दस हजार रुपये की धनराशि दी जाती है. इसके तहत संबंधित ग्राम सभा के ग्राम प्रधान और आशा कार्यकत्रियों के संयुक्त खाते में यह राशि जमा होती है. इस राशि को वे ग्रामसभा में स्वच्छता सामग्री खरीदने के लिए निकाल सकते हैं, लेकिन चमोली में जिला आशा समन्वयक पर रजिस्टर और फर्स्ट एड किट की खरीद के नाम पर आशा कार्यकत्रियों से ग्रामीण स्वच्छता समिति में जमा 10 हजार रुपये में से 3650 रुपये गबन करने के आरोप लगे हैं.
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जबकि, नियमानुसार रजिस्टर और फर्स्ट एड किट को खरीदने का अधिकार केवल ग्रामीण स्वच्छता समिति ही करता है. यहां पर रजिस्टर और फर्स्ट एड किट को खरीदने के लिए आशा कार्यकत्रियों से 3650 रुपये की राशि वसूली की गई है. जिसके बाद मामला सीएमओ कार्यालय तक पहुंचा. जहां पर इन सामानों की खरीद मामले की लिखित शिकायत दी गई.
जिसपर सीएमओ डॉ. अनूप डिमरी ने तत्काल जांच के आदेश दिए. मामले की प्रारंभिक जांच में सीएमओ को वित्तीय अनियमितता की पुष्टि भी हुई. सीएमओ डॉ. डिमरी ने बताया कि ग्रामीण स्वच्छता समिति को मिली 10 हजार रुपये की धनराशि में अनियमितता की शिकायतें मिली है. जिसकी जांच गतिमान है. साथ ही कहा कि जांच के बाद जो भी दोषी पाया जाएगा. उसे किसी भी कीमत में बक्शा नहीं जाएगा.